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পরিযায়ী শ্রমিকদের ঘরে ফেরাবেন বামপন্থীরা, সরকারকে তালিকা দেওয়ার অনুরোধ সূর্যকান্তের

বাংলার পরিযায়ী শ্রমিকদের সুষ্ঠুভাবে ঘরে ফেরার বিষয়ে সিপিএম কর্মীদের সজাগ হতে বললেন সিপিএমের রাজ্য সম্পাদক সূর্যকান্ত মিশ্র। তিনি বলেন, শুধু সরকারের ভরসায় না থেকে জেলায় জেলায় সিপিএমে'র নেতৃবৃন্দ ও কর্মীবৃন্দকেও সতর্ক ও প্রস্তুত থাকতে হবে। পরিযায়ী শ্রমিকদের সুরক্ষার কথা ভেবে তাঁদেরই




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বুদ্ধদেব ভট্টাচার্যকে নিয়ে দিনভর গুজব, বিবৃতি দিয়ে প্রকৃত কারণ জানাল আলিমুদ্দিন

দিনভর গুজব চলছিল প্রাক্তন মুখ্যমন্ত্রী বুদ্ধদেব ভট্টাচার্যকে নিয়ে। শেষমেশ আলিমুদ্দিন স্ট্রিটকে হস্তক্ষেপ করতে হল। প্রাক্তন মুখ্যমন্ত্রীর স্বাস্থ্য নিয়ে উদ্বেগের নিরসন করে সিপিএম জানায়, সম্পূর্ণ সুস্থ আছেন বুদ্ধদেব ভট্টাচার্য। রাজ্য সম্পাদক সূর্যকান্ত মিশ্র জানান, যে খবর ছড়ানো হচ্ছে তা ভিত্তিহীন। ওইসব গুজবে




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কলকাতা পুরসভার বোর্ড অব অ্যাডমিনিস্ট্রেটর, মামলা হাইকোর্টের ডিভিশন বেঞ্চে

কলকাতা পুরসভার বোর্ড অব অ্যাডমিনিস্ট্রেটর নিয়োগ সংক্রান্ত সিঙ্গল বেঞ্চের নির্দেশকে চ্যালেঞ্জ করে ডিভিশন বেঞ্চে মামলা দায়ের হল। আগামী সোমবার হাইকোর্টের ডিভিশন বেঞ্চে মামলার শুনানির সম্ভাবনা রয়েছে। প্রসঙ্গত, কলকাতা পুর নিগমে রাজ্যের গঠিত প্রশাসক বোর্ডকে 'কেয়ারটেকার বোর্ড' হিসেবে চিহ্নিত করে তাদের এক মাসের




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পরিযায়ী শ্রমিক ইস্যুতে রেলওয়েজের বক্তব্য 'ভুল'! সংঘাতের পারদ চড়াল আলাপনের টুইট

অধীর চৌধুরী দাবি করেছেন, কেন্দ্রীয় স্বরাষ্ট্রমন্ত্রী অমিত শাহের কাছে তাঁর ফোন যাওয়ার পরই রাজ্যের জন্য ৮টি ট্রেন বরাদ্দ করে পরিযায়ী শ্রমিকজের ঘরে ফেরানো হচ্ছে। এতে রাজ্য সরকারের কোনও উজ্জ্বল উদ্যোগ নেই। আর অন্যদিকে, এই ইস্যুতে ভারতীয় রেলের টুইটকে 'অসত্য' বলে দাবি




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'ভয় পেয়েছে মমতা', ৯ দিনে মুখ্যমন্ত্রী সাংবাদিকদের মুখোমুখি না হতেই বিজেপি সরব নয়া পদক্ষেপে

এক সপ্তাহের বেশি সময় হয়ে গিয়েছে। রাজ্যে কেন্দ্রীয় পর্যবেক্ষক দল ঘুরে যাওয়ার পরই যখন নিত্যদিন প্রবল সংখ্যক করোনা রোগীর সন্ধান মিলতে শুরু করেছে, তখনই সাংবাদিকদের প্রশ্নের মুখোমুখি হচ্ছেন না রাজ্যের মুখ্যমন্ত্রী মমতা বন্দ্যোপাধ্যায়। এই পরিস্থিতিতে তৃণমূল সুপ্রিমোকে আক্রমণের যাবতীয় হাতিয়ার শানিয়ে




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ফের পরিযায়ী শ্রমিকদের মৃত্যু দেশে, এবার নেপথ্যে ট্রাক দুর্ঘটনা

মহারাষ্ট্রের ঔরাঙ্গাবাদে পরিযায়ী শ্রমিকদের ট্রেন দুর্ঘটনায় মৃত্যুশোক এখনও ভুলে উঠতে পারেনি দেশ। এরইমধ্যে ফের শ্রমিক মৃত্যুর খবর প্রকাশ্যে আসতে শুরু করেছে।  মধ্যপ্রদেশের দুর্ঘটনার জেরে রীতিমতো উদ্বেগ বাড়ছে পরিযায়ী শ্রমিকদের নিয়ে। প্রাথমিকভাবে মৃত শ্রমিকরা পরিযায়ী কি না, তা নিয়ে খানিকটা বিভ্রান্তি থাকলেও,




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৩০০ টি নতুন করোনা হটস্পট দেশে! কোন পদ্ধতিতে সন্ধান পেয়ে যাচ্ছে কেন্দ্র

করোনার দানবীয় দংশনে লকডাউনের তৃতীয় পর্যায়ে দেশ। তবুও আক্রান্তের সংখ্যা ৬৩ হাজার ছুঁয়ে ফেলতে চলেছে। কিছুতেই বাগে আসছে না করোনা পরিস্থিতি। এমন অবস্থায় দেশে নতুন করে ৩০০ টি হটস্পটের সন্ধান পেয়ে গিয়েছে কেন্দ্র। 'ভয় পেয়েছে মমতা', ৯ দিনে মুখ্যমন্ত্রী সাংবাদিকদের মুখোমুখি না হতেই বিজেপি সরব নয়া পদক্ষেপে




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বিজেপির মুখোশ খুলে দিলেন তৃণমূল সাংসদ নুসরত! অমোঘ যুক্তিবাণে কাত তাবড় নেতারা

এক বছরেই রাজনীতির অনেক আটঘাটই শিখে নিয়েছেন বসরিহাটের তৃণমূল সাংসদ নুসরত জাহান। তা দিয়েই তিনি একে একে বিজেপির সমস্ত ফাঁস কেটে চলেছেন। বিজেপি যে মস্ত ফন্দি আঁটছেন, তা কেটে মানুষের কাছে ফাঁস করে দিচ্ছেন নুসরত। ফলে বিজেপির মুখোশ খুলে যাচ্ছে।




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ভারতে ৬৩ হাজার ছুঁইছুঁই করোনা আক্রান্তের সংখ্যা! গত ২৪ ঘণ্টায় দেশের পরিস্থিতি কেমন ছিল

করোনার জেরে গোটা দেশে পরিস্থিতি ক্রমেই উদ্বেগজনক হচ্ছে। দেশে সুস্থতার পরিসংখ্যান ২৯ .৯১ শতাংশ হয়েছে। তবে তাতেও বাগ মানছে না পরিস্থিতি। এবার ৬৩ হাজার আক্রান্তের সংখ্যা ছোঁয়ার পথে করোনার আক্রান্তের সংখ্যা।




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করোনার আবহে সীমান্তে চৈনিক আস্ফালন ! জবাব ভারতীয় সেনার, তুঙ্গে উত্তেজনা

করোনার আবহে ক্রমেই বাড়ছে চিনকে ঘিরে উত্তেজনা। আর এদিন সিকিম সীমান্তে ফের একবার চিনের পিএলএ সেনা ও ভারতীয় সেনার মধ্যে উত্তেজনার মাত্রা চড়ে। এই ঘটনা ফের একবার ডোকলাম পরিস্থিতির কথা উস্কে দিয়েছে। ৩০০ টি নতুন করোনা হটস্পট দেশে! কোন পদ্ধতিতে সন্ধান পেয়ে যাচ্ছে কেন্দ্র




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চারদিন ব্যাপক ঝড়-বৃষ্টির পূর্বাভাস বাংলায়, ৭০ কিলোমিটার বেগে বইতে পারে কালবৈশাখী

আগামী চার দিন ঝড়-বৃষ্টির সম্ভাবনা রাজ্যে। মঙ্গল ও বুধবার ব্যাপক ঝড় বৃষ্টির সম্ভাবনা দক্ষিণবঙ্গে। ঘণ্টায় ৭০ কিলোমিটার গতিবেগ হতে পারে ঝড়ের। উত্তরবঙ্গ ভারী বৃষ্টির পূর্বাভাস। ভারী বৃষ্টি হতে পারে দক্ষিণবঙ্গের দু-এক জেলায়। কলকাতায় আংশিক মেঘলাআকাশ ও সকাল থেকেই আদ্রতাজনিত অস্বস্তি চরমে। {image-cyclone1-1586955603.jpg




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বিজেপি ভুয়ো খবর ছড়ানোর কারখানা, শাহের এক ভিডিও-বার্তা তুলে ধরে খোঁচা তৃণমূলের

বিজেপি ভুয়ো খবর ছড়াচ্ছে বলে দীর্ঘদিন বলে অভিযোগ করে আসছেন তৃণমূল নেতা-কর্মীরা। আর এটা বিজেপির একটা অ্যাজেন্ডা। তৃণমূলের অভিযোগ, সম্প্রতি একটি ভিডিও সোশ্যাল মিডিয়ায় ঘুরে বেড়াচ্ছে। সেটাই প্রমাণ করছে বিজেপি কুৎসাকেই পাথেয় করে রাজনীতি করতে চাইছে। অমিত শাহের একটি পুরো ভিডিও




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লকডাউন শেষ হলে কারখানাগুলিতে কীভাবে কাজ হবে! কেন্দ্রের তরফে বড়সড় নির্দেশিকা

লকডাউন কি খুব শিগগিরিই তুলে নিতে চলেছে কেন্দ্র? এই প্রশ্ন উস্কে দিয়ে এবার কেন্দ্রীয় স্বরাষ্ট্রমন্ত্রকের কাছ থেকে এলো বড়সড় বার্তা। উল্লেখ্য, বর্তমানে লকডাউনের তৃতীয় পর্বে দেশ। আর ১৭ মে পর্যন্ত এই তৃতীয় পর্বের মেয়াদ রয়েছে বলে জানানো হয়েছে। আর তার আগে




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কাশ্মীরে পাকিস্তানি সন্ত্রাসের গোপন অভিসন্ধি ফাঁসে এবার ময়দানে অজিত ডোভাল! শুরু তৎপরতা

গোয়েন্দাদের কাছে খবর রয়েছে যে, ১১ মে ভারতে বড়সড় নাশকতার পরিকল্পনায় রয়েছে পাকিস্তানি জঙ্গিরা। এর আগে এপ্রিলের শেষ থেকে সেনার ওপর উপত্যকায় একের পর এক হামলা করে চলেছে জঙ্গিরা। অন্যদিকে, করোনার আবহে করোনা আক্রান্ত জঙ্গিদের ভারতে পাচারের চেষ্টায় রয়েছে ইমরান খানের




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‘ভাট বকছে বিজেপি’! জমজমাট সোশ্যাল মিডিয়া যুদ্ধে ‘মাস্টারস্ট্রোক’ দিল তৃণমূল

করোনা লকডাউনে প্রচারের একমাত্র মাধ্যম হয়ে উঠেছে সোশ্যাল মিডিয়া। ফেসবুক আর টুইটারের তাই রমরমা। এই পরিস্থিতি প্রচারে ঝড় তুলতে তৃণমূল তৈরি করল এক নয়া হ্যাশ ট্যাগ। ‘ভাট বকছে বিজেপি'- এই হ্যাশ ট্যাগে প্রচারে ঝড় তুলতে চাইছে তৃণমূল কংগ্রেস। সম্প্রতি বিজেপির কুৎসা-অপপ্রচারের




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1985 की जीत ने भारतीय क्रिकेट का भविष्य तय किया, टीम इंडिया ने खुद को साबित किया था

टीम इंडिया के कोच रवि शास्त्री ने पिछले दिनों कहा कि 1985 में वर्ल्ड चैम्पियनशिप ऑफ क्रिकेट जीतने वाली टीम विराट कोहली की वर्तमान वनडे टीम को हरा सकती है। यह बयान कुछ लोगों को विवादास्पद लग सकता है। 1980 के लोगों के लिए यह जीत विशेष थी। शास्त्री ने ऑलराउंड प्रदर्शन किया। श्रीकांत और जावेद मियांदाद को पीछे छोड़ते हुए शास्त्री प्लेयर ऑफ द सीरीज भी बने थे। शास्त्री को ऑडी कार मिली जो उस समय काफी चर्चित रही।

1983 वर्ल्ड से पहले टीम इंडिया का वनडे में प्रदर्शन अच्छा नहीं था। 1983 वर्ल्ड कप के फाइनल में विंडीज पर अप्रत्याशित जीत ने दुनिया काे अचंभित कर दिया। इसने कई युवा खिलाड़ियों को प्रेरणा दी। 1984 में टीम ने शारजाह में एशिया कप जीता। इसी जगह एक साल बाद रोथमैंस कप जीता। इन दोनों के बीच 1985 में वर्ल्ड चैम्पियनशिप की जीत शानदार थी।

भारतीय टीम कागजों पर मजबूत नहीं थी
इसने भारतीय क्रिकेट के भविष्य को तय किया। रंगीन कपड़ों में खेल रहे खिलाड़ी और टीवी पर कवरेज ने इसे और शानदार बनाया। टीम ने फाइनल में पाकिस्तान को हराया। टीम टूर्नामेंट में एक भी मुकाबला हारी ही नहीं। इसने साबित किया कि 1983 वर्ल्ड कप में मिली जीत अप्रत्याशित नहीं थी। शास्त्री की बात आंकड़ों से बेमेल खाती है। लेकिन 1983-1985 की टीम कागजों पर मजबूत नहीं थी लेकिन खिताब जीतने के मामले में आगे थी। जब तक विराट कोहली और उनकी टीम ऐसा नहीं कर सकती और भारतीय क्रिकेट इतिहास में अपनी छाप छोड़ सकती है। तब तक 1985 और 2020 की टीमों के बीच बात चलती रहेगी।



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भारतीय टीम ने 1985 वर्ल्ड चैम्पियनशिप के फाइनल में पाकिस्तान को हराया था। टीम टूर्नामेंट में एक भी मुकाबला हारी ही नहीं।




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सुपर हैवीवेट में ओलिंपिक क्वालिफाई करने वाले देश के पहले बॉक्सर सतीश बोले- स्ट्रेंथ के लिए पेड़ पर रस्सी के सहारे चढ़ता और मेंढक जंप करता हूं

सतीश कुमार देश के पहले बॉक्सर हैं, जिसने सुपर हैवीवेट में ओलिंपिक के लिए क्वालिफाई किया है। 2016 के रियो गेम्स में तो वे ऐसा करने से चूक गए थे। लेकिन, इस साल मार्च में उन्होंने91 किलोग्राम से ज्यादा भारवर्ग में टोक्यो का टिकट कटा लिया।

ये अलग बात है कि कोरोना की वजह से टोक्यो ओलिंपिक एक साल के लिए टल गए। हालांकि, सतीश मायूस होने की बजाए इसे भी एक मौके की तरह ले रहे हैं। उनका कहना है कि ओलिंपिक टलने की वजह से उन्हें अपनी स्ट्रेंथ पर काम करने का और मौका मिल गया।

वह इस एक साल में अपनी कमियों को दूर करेंगे। पूरे देश में लॉकडाउन के कारण कैंप स्थगित हैं और वह उत्तरप्रदेश के बुलंदशहर स्थित अपने घर पर ही फिटनेस पर काम कर रहे हैं। करियर और ओलिंपिक तैयारियों को लेकर सतीश ने भास्कर से खास बात की....

  • टोक्यो ओलिंपिक एक साल टलने से आपको फायदा हुआ या नुकसान?

सतीश: टोक्यो ओलिंपिक के एक साल टलने से मुझे प्रैक्टिस के लिए काफी समय मिल गया है। मैं इस एक साल में अपनी कमियों को दूर करूंगा। स्ट्रेंथ में मैं कमजोर हूं, इसलिए इस पर काम कर रहा हूं। ताकि 2021 में होने वाले गेम्स में बेहतर चुनौती पेश कर सकूं।

  • आप ने कहा कि स्ट्रेंथ में कमजोर हैं, ऐसे में इसको बढ़ाने के लिए क्या कर रहे हैं?

सतीश:स्ट्रेंथ को बढ़ाने के लिए वेट ट्रेनिंग कर रहा हूं। इसके लिए घर पर हीइंतजाम किया है। इसमें डंबल, प्लेट्स और रॉड शामिल है। मैं हाथों में मजबूती लाने के लिए ट्रक के टायर पर हथौड़ेमारता हूं, ताकि हाथों में मजबूती आए।

'इसके साथ ही वेट भी उठाता हूं। बुलंदशहर में अपने घर के पास ही पेड़ पर रस्सी बांधकर उस पर चढ़ता हूं। वहीं मेंढकजंप का भी अभ्यास करता हूं। स्ट्रेंथ को बढ़ाने के लिए कई और एक्सरसाइज भी करता हूं। जोकोच ने बताई है।'

  • आपको किस देश के मुक्केबाज से चुनौती मिलेगी? उनकी तुलना में आप किस क्षेत्र में कमजोर और मजबूत हैं?

सतीश: ओलिंपिक में मेरा मुख्य मुकाबला तजाकिस्तान और उज्बेकिस्तान के बॉक्सरों से हैं। इन दोनों देशों के मुक्केबाज मुझसे स्ट्रेंथ और तकनीक में ज्यादा मजबूत हैं। उनकी तुलना में मेरी स्पीड ज्यादा है। इसलिए मैं स्ट्रेंथ पर काम कर रहा हूं।

  • ओलिंपिक टलने से उम्रदराज मुक्केबाजों पर क्या असर पड़ेगा?

सतीश: किसी भी खिलाड़ी का लक्ष्य ओलिंपिक में देश का प्रतिनिधित्व करना होता है। इसे सोचकर ही खिलाड़ी अभ्यास करता है। हां, जिनकी उम्र ज्यादा हो गई है, उन मुक्केबाजों पर थोड़ा फर्क पड़ेगा। उन्हें फिटनेस पर ज्यादा काम करना होगा।

  • अगले साल भी ओलिंपिक का होना मुश्किल दिख रहा? अगर गेम्स रद्द होते हैं तो तैयारियों पर क्या फर्क पड़ेगा?

सतीश: अंतरराष्ट्रीय ओलिंपिक संघ (आईओए), जापान सरकार और अलग-अलग देशों के संघ खिलाड़ियों के स्वास्थ्य को जोखिम में नहीं डाल सकते। इसलिए जापान सरकार और आईओए सभी पहलुओं को ध्यान में रखकर ही कोई फैसला लेंगे। 2021 में भी अगर गेम्स नहीं होते हैं तो 2024 ओलिंपिक की तैयारी के लिए जुटना होगा। तब तक कई युवा खिलाड़ी सामने आ जाएंगे। तब ओलिंपिक के लिए क्वालिफाई करने के लिए काफी मेहनत करनी होगी।

  • लॉकडाउन के कारण आप घर पर ही हैं, इस समय का कैसे इस्तेमाल कर रहे हैं?

सतीश: लॉकडाउन के कारण मैं बुलंदशहर में ही हूं। बॉक्सिंग फेडरेशन ऑफ इंडिया की ओर से कोच ऑनलाइन प्लान भेजते हैं। उसी पर काम करता हूं। अभी केवल फिटनेस को लेकर प्लान आ रहा है। मैं उसी पर वर्क कर रहा हूं। इन दिनों जिम भी बंद है, ऐसे में कुछ इक्विपेंट का इंतजाम कर घर पर ही फिटनेस ट्रेनिंग कर रहा हूं।

तजाकिस्तान और उज्बेकिस्तान के बॉक्सरों के मैच के वीडियो देख रहा हूं। अपने पुराने मैच के भी वीडियो देखकर खेल का एनालिसिस कर रहा हूं।

  • आप किसान परिवार से संबंध रखते हैं, क्या परिवार वालों को कृषि के काम में भी मदद कर रहे हैं?

सतीश: जी, इन दिनों गेहूं की कटाई का समय है। मैं कटाई करने तो नहीं गया। लेकिन, कटाई के बाद जब गेहूं और भूसे को अलग किया जाता है, तो उसमें जरूर परिवार की मदद की।

  • आप बॉक्सिंग में कैसे आए?

सतीश: हम चार भाई हैं। मैं दूसरे नंबर का हूं। बड़े भाई सेना में हैं। उनकी वजह से ही सेना में आया।आर्मी में आने से पहले तक बॉक्सिंग के बारे में कुछ भी नहीं जानता था। जब मैं आर्मी में भर्ती हुआ तो, मुझे इसके बारे में पता चला। मैं रानीखेत में ट्रेनिंग कर रहा था। बैरक के पास ही बॉक्सिंग सेंटर था।

'आर्मी के बॉक्सिंग कोच ने मेरी हाईट (1.88 मीटर) और फिटनेस देखकर मुझे बॉक्सिंग खेलने का सुझाव दिया। इसके बाद मैं खेल से जुड़ गया। धीरे-धीरे सेना के अंदर होने वाले टूर्नामेंट जीते और उसके बाद राष्ट्रीय स्तर पर मेडल जीतकर भारतीय टीम में पहुंचा। इसकी मेहनत का नतीजा है किमैं 2014 एशियन गेम्स में 91 किलो से ऊपर की वेट कैटेगरी में ब्रॉन्ज मेडल जीता।'



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Satish, the first boxer in the country to qualify for Olympic in Super Heavyweight, said - climbed the tree with a rope and jumped the frog for strength




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बीसीसीआई नुकसान की भरपाई के लिए दो टीम बनाने की तैयारी में; एक टीम टेस्ट, दूसरी टी-20 खेलेगी

कोरोनावायरस के कारण क्रिकेट अभी पूरी तरह से ठप है। टी-20 लीग आईपीएल को भी अनिश्चितकाल के लिए टाल दिया गया है। ऐसे में बोर्ड कम समय में ज्यादा मैच खेलकर नुकसान की भरपाई का प्लान बना रहा है। इसके मुताबिक टेस्ट और टी-20 सीरीज के लिए दो अलग-अलग टीमें बनाई जाएंगी। दोनों एक साथ सीरीज खेलेंगी। ऐसे में कम समय में अधिक से अधिक मैच खेले जा सकेंगे।

बोर्ड के एक अधिकारी ने कहा, ‘कोई नहीं जानता है कि खेल कब शुरू होगा। स्पॉन्सर्स से लेकर फैंस की बात करें तो हमें सभी को ध्यान में रखना है। ऐसे में एक विकल्प यह है कि हम दो टीमें बनाएं। जो साथ-साथ टेस्ट सीरीज और टी-20 सीरीज खेल सकें।’

ब्रॉडकास्टर के हितों को ध्यान में रखना होगा
बीसीसीआई को ब्रॉडकास्टर के हितों को ध्यान में रखना है तो उसे दो टीमें बनानी होंगी। दिन में टेस्ट मैच होंगे और फ्लड लाइट में टी-20 मैच का आयोजन किया जाएगा। लेकिन दो टीम बनाने से पहले कोचिंग स्टाफ को भी लेकर काम करना होगा। क्योंकि एक कोचिंग स्टाफ दो जगह काम नहीं कर सकेगा। इसके पहले ऑस्ट्रेलियाई टीम ऐसा कर चुकी है। 2017 में 22 फरवरी को एडिलेड में श्रीलंका से टी-20 मैच खेलने के बाद टीम ने 23 फरवरी को पुणे में टेस्ट मैच की शुरुआत की थी। इसके लिए दो अलग-अलग टीम बनाई गईं थीं। कुछ ऐसा ही उपाय टीम इंडिया भी कर सकती है।

ऑस्ट्रेलिया दौरे पर क्वारेंटाइन रहेंगे भारतीय खिलाड़ी
टीम इंडिया को नवंबर-दिसंबर में ऑस्ट्रेलिया दौरे पर जाना है। जहां टीम को चार टेस्ट खेलने हैं। सीरीज में एक टेस्ट को और जोड़ने को लेकर बातचीत जारी है। बीसीसीआई ने इसके लिए खिलाड़ियों को दो हफ्ते तक क्वारेंटाइन रखने पर सहमति दे दी है। ऐसे में सभी बोर्ड घाटे को कम करने के लिए कम दिनों में अधिक से अधिक मैच खेलने की तैयारी कर रहे हैं। यदि आईपीएल नहीं होता है तो बोर्ड को 4 हजार करोड़ रुपए के नुकसान का अनुमान है।

चीफ सिलेक्टर बोले- टी-20 से सीजन की शुरुआत हो
टीम इंडिया के चीफ सिलेक्टर सुनील जोशी ने बीसीसीआई को नए सीजन की शुरुआत टी-20 से करने का सुझाव दिया है। पिछले दिनों नेशनल सिलेक्शन कमेटी की वीडियो कॉन्फ्रेंस से हुई बैठक में ऐसा प्रस्ताव दिया गया। अगर बोर्ड इस पर सहमत होता है तो अगस्त में शुरू होने वाले सीजन का आगाज सैयद मुश्ताक अली टी-20 टूर्नामेंट से हो सकता है। सिलेक्शन कमेटी के मुताबिक, इससे खिलाड़ी टी-20 वर्ल्ड कप के लिए तैयार हो सकेंगे। वर्ल्ड कप के मुकाबले ऑस्ट्रेलिया में अक्टूबर-नवंबर में होने हैं। अधिकतर इंटरनेशनल खिलाड़ी घरेलू क्रिकेट को प्राथमिकता नहीं देते हैं। लेकिन मौजूदा हालात में उन्हें टूर्नामेंट से प्रैक्टिस करने का मौका मिलेगा।



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भारतीय टीम ने इसी साल की शुरुआत में घरेलू वनडे सीरीज में ऑस्ट्रेलिया को 2-1 से हराया था। इसी सीरीज के एक मैच के दौरान टीम इंडिया के कैप्टन विराट कोहली और ऑस्ट्रेलियाई कप्तान एरॉन फिंच।




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पहलवान साक्षी ने कहा- पहली बार 15 दिन तक एक जगह रही, अब नकारात्मक विचार आने लगे

रेसलर साक्षी मलिक पहली बार लगातार 15 दिन तक घर पर हैं। लॉकडाउन के कारण वे अभी रोहतक स्थित घर पर ट्रेनिंग कर रही हैं। इस दौरान उन्हें नकारात्मक विचार आते हैं। 2016 रियो ओलिंपिक की ब्रॉन्ज मेडलिस्ट साक्षी का टोक्यो ओलिंपिक में उतरना मुश्किल है। एशियन ओलिंपिक क्वालिफायर के मुकाबले में वे सोनम मलिक से हार गईं।

एशियन क्वालिफायर के मुकाबले मार्च 2021 में होने हैं। यदि सोनम को यहां से ओलिंपिक को टिकट नहीं मिलता है तो अप्रैल 2021 में वर्ल्ड क्वालिफायर से पहले एक बार फिर साक्षी और सोनम के बीच मुकाबला हो सकता है।

क्वारेंटाइन में जीवन पूरी तरह अलग है
साक्षी ने कहा, ‘मैंने सोचा था कि लॉकडाउन 15 दिन तक चलेगा। लेकिन यह बढ़ता रहा।’ 27 साल की साक्षी 15 साल से रेसलिंग कर रही हैं। उन्होंने कहा कि पहली बार है कि मैं इस तरह की चीजों का अनुभव ले रही हूं। घर में क्वारेंटाइन हूं। जीवन पूरी तरह से अलग है। मैं एक जगह पर 15 दिन से ज्यादा कम ही रही हूं। पहले प्रशिक्षण या टूर्नामेंट के लिए मुझे जाना ही पड़ता था।



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भारतीय रेसलर साक्षी मलिक ने कहा, ‘मैंने सोचा था कि लॉकडाउन 15 दिन तक चलेगा। लेकिन यह बढ़ता रहा।’ 27 साल की साक्षी 15 साल से रेसलिंग कर रही हैं। -फाइल फोटो




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कोहली ने कहा- मैं मानसिक तौर पर पूरी तरह तरोताजा, जहां से क्रिकेट छोड़ा था, वहीं से फिर शुरू कर सकता हूं

भारतीय कप्तान विराट कोहली ने कहा है कि वे मानसिक तौर पर पूरी तरह तरोताजा हैं। कोरोनावायरस के कारण जहां से उन्होंने क्रिकेट को छोड़ा था, वहीं से फिर शुरू कर सकते हैं। दरअसल, कोरोनावायरस के कारण खेल के लगभग सभी टूर्नामेंट दो महीने से बंद हैं। इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) को अनिश्चितकाल के लिए टाल दिया गया है।

लॉकडाउन में फिट रहने के लिए कोहली घर पर ही जिम कर रहे हैं। उन्होंने कहा, ‘‘यह मेरे लिए अच्छी बात है कि मेरे घर पर ही जिम और उसका सारा सामान है, इसलिए मैं ट्रेनिंग करने में सक्षम हूं और यह मेरे लिए कोई बड़ी समस्या भी नहीं है।’’

क्रिकेट के शुरुआती दिनों में दिक्कत आएगी
भारतीय कप्तान ने स्टार स्पोर्ट्स के क्रिकेट कनेक्टेड शो में कहा, ‘‘मैं उन लोगों में से हूं, जिनका ज्यादा ध्यान मानसिक पहलू पर होता है। मैं कई घंटों तक नेट पर प्रैक्टिस करते हुए समय नहीं बिताता। इसलिएजानता हूं कि यदि मैं मानसिक तौर पर मजबूत रहा तो खुद को सकारात्मक और खुश रख सकूंगा। साथ ही इसी मानसिकता के साथ वहीं से क्रिकेट को शुरू कर सकूंगा, जहां से मैंने छोड़ा था।’’ हालांकि, कोहली ने यह भी माना है कि शुरुआती दिनों में थोड़ी समस्या जरूर आएगी।

‘हर चीज को सकारात्मक तौर पर देखें’
लॉकडाउन को लेकर कोहली ने कहा, ‘‘शुरुआती दिनों में यह थोड़ा मुश्किल था, लेकिन आप इसे अलग नजरिए से देखते हैं, तो समय बहुत जल्दी निकल जाता है। क्योंकि आपको यह पता चल जाता है कि आपके नियंत्रण में कुछ भी नहीं है। आप सिर्फ अपनी मानसिक स्थिति पर ही काबू रख सकते हैं। यदि आप सभी चीजों को सकारात्मक तौर पर देखेंगे तो पाएंगे कि यह इतना मुश्किल नहीं है। मैं लगातार प्रैक्टिस कर रहा हूं। यह मेरे लिए पहले भी समस्या नहीं थी, क्योंकि मैं खुद को फिट रखता हूं और लगातार प्रैक्टिस करता रहा हूं।’’

ऑस्ट्रेलिया में भारत को 4 टेस्ट 3 वनडे खेलना है
भारतीय टीम को साल के आखिरी में ऑस्ट्रेलिया दौरे पर जाना है, जहां 4 टेस्ट और 3 वनडे की सीरीज खेलनी है। इससे पहले 18 अक्टूबर से 15 नवंबर तक ऑस्ट्रेलिया में ही टी-20 वर्ल्ड कप भी होना है, जिसकी संभावना बहुत कम है। क्रिकेट जानकारों की मानें तो इस साल कोरोना के कारण कोई भी टूर्नामेंट या सीरीज होना मुश्किल है। सिर्फ साल के आखिर में भारत-ऑस्ट्रेलिया सीरीज ही संभव लग रही है।



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भारतीय कप्तान विराट कोहली ने कहा- यह मेरे लिए अच्छी बात है कि मेरे घर पर ही जिम और उसका सारा सामान है, इसलिए मैं ट्रेनिंग करने और फिट रहने में सक्षम हूं। -फाइल फोटो




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सचिन-सहवाग समेत खेल के दिग्गजों ने मां को याद किया, लक्ष्मण ने लिखा- मां के शुद्ध प्यार को आप कभी नहीं जान पाएंगे

इस साल 10 मई को मदर्स डे मनाया जा रहा है। दुनियाभर में यह अलग-अलग दिन मनाया जाता है, जबकि भारत में मई के दूसरे रविवार को सेलिब्रेट किया जाता है। इस दिन सचिन तेंदुलकर, वीरेंद्र सहवाग और वीवीएस लक्ष्मण समेत खेल के कई भारतीय दिग्गजों ने मां को याद किया।

लक्ष्मण ने ट्वीट किया, ‘‘आप जब भी मां की तरफ देखते हैं, तो आप एकदम शुद्ध प्रेम की तरफ देखते हैं। इसे आप कभी समझ नहीं पाएंगे। मेरी जिंदगी का सबसे मजबूत सहारा बनने के लिए धन्यवाद अम्मा।’’

सचिन ने मां को धन्यवाद कहा
सचिन ने मां के साथ वाली बचपन की एक तस्वीर शेयर की। साथ ही लिखा, ‘‘आप मेरे लिए आई हैं, क्योंकि आप सबकुछ के अलावा हमेशा अद्भुत और अपूर्णीय हो। मेरे लिए आपने जो कुछ भी किया, उसके लिए धन्यवाद।’’

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सहवाग ने कहा- मां जैसा कोई नहीं
पूर्व भारतीय ओपनर सहवाग ने मां के नाम एक वीडियो शेयर किया। उन्होंने कहा कि बच्चा चाहे लायक हो या नालायक, वह चाहे या न चाहे, हर स्थिति में उसे मां का प्यार मिलता है। मां ने मुझे घर वालों से लड़कर क्रिकेट फीस के लिए 100 रुपए दिए थे। सहवाग ने पोस्ट में लिखा, मां का प्यार वह प्यार होता है, जिसे आप तब भी पाते हैं, जब आप उसके हकदार हों या चाहे न हों। मां के जैसा कोई नहीं है।’’

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सचिन तेंदुलकर ने मां के साथ वाली बचपन की एक तस्वीर ट्वीटर पर शेयर की। उन्होंने लिखा- मेरे लिए आपने जो कुछ भी किया, उसके लिए धन्यवाद।




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जावेद मियांदाद बोले- कर्ज नहीं चुकाया तो हमारा एटम बम ले जाएगा आईएमएफ, इसे बचाने के लिए मैं भीख मांग रहा हूं

पाकिस्तान के पूर्व कप्तान जावेद मियांदाद के मुताबिक, मुल्क पर बढ़ते कर्ज की वजह से उसके एटमी हथियार खतरे में हैं। जावेद ने कहा- अगर हमने आईएमएफ जैसे संगठनों का कर्ज नहीं चुकाया तो वो हमारा एटम बम ले जाएंगे। इतना ही नहीं, मियांदाद ने इन कर्जों को चुकाने के लिए एक बैंक अकाउंट भी खोल लिया है और उसमें लोगों से पैसा जमा करने की अपील की। इस पूर्व बल्लेबाज ने कहा- मैं लोगों से मुल्क की खातिर भीख मांग रहा हूं।

लूटने वाले अब मुल्क बचाएं
मियांदाद ने शनिवार रात ट्विटर पर एक वीडियो जारी किया। कहा, “मैंने नेशनल बैंक ऑफ पाकिस्तान में एक अकाउंट खुलवाया है। मैं आप लोगों से भीख मांगता हूं कि इसमें पैसा जमा करें ताकि हमारा एटम बम बचाया जा सके। अगर हमने आईएमएफ जैसे संगठनों का कर्ज नहीं लौटाया तो वो इस बम को ले जाएंगे। मैं जानता हूं कि इस देश के लोगों ने अपने ही मुल्क को खूब लूटा है। अब वक्त है जब वो मुझे भीख देकर अपने पापों का प्रायश्चित कर सकते हैं। विदेश में रहने वाले पाकिस्तानी भी अब फर्ज निभाएं।”

इंटरनेशनल बैंक अकाउंट
मियांदाद भारत के मोस्ट वॉन्टेड दाऊद इब्राहिम के समधी हैं। वीडियो में वो आगे कहते हैं, “मेरा नया अकाउंट इंटरनेशनल है और इसका इस्तेमाल सिर्फ मैं करूंगा। हम आईएमएफ का कर्ज चुकाएंगे। लोग हर महीने इसमें पैसा डिपॉजिट करें। हमारे ऊपर पहले ही बहुत कर्ज है। अगर अब हम आईएमएफ से कर्ज लेने जाएंगे तो वो सबसे पहले हमारे एटमी हथियार यानी हमारा बम मांगेंगे। इसे बचाना है तो उनका पैसा वापस करना होगा। इसके लिए मैं आपसे भीख मांग रहा हूं।”

इमरान से करीबी और दूरी
कश्मीर मुद्दे पर मियांदाद ने प्रधानमंत्री इमरान खान का साथ दिया था। सड़कों पर मार्च भी निकाला। हालांकि, मैदान पर दोनों के रिश्ते कभी अच्छे नहीं रहे। आरोप है कि इमरान के इशारे पर वकार यूनिस और वसीम अकरम ने जावेद के खिलाफ टीम में गुटबाजी की थी। इसके बाद मियांदाद को कप्तानी छोड़नी पड़ी थी। जावेद 1992 में वर्ल्ड कप जीतने के बाद पैसों के बंटवारे को लेकर भी इमरान पर आरोप लगा चुके हैं। इमरान उस टीम के कप्तान थे।



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इमरान की कप्तानी में पाकिस्तान ने 1992 में विश्व कप जीता था। जावेद मियांदाद भी इस टीम का हिस्सा थे। (फाइल)




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निगम के स्वास्थ्य अधिकारी की रिपोर्ट कोरोना पॉजिटिव, अधीनस्थ स्टाफ की जांच होगी

नगर निगम में कार्यरत स्वास्थ्य अधिकारी गौतम भाटिया की कोरोना रिपोर्ट पॉजिटव आई है। भाटिया अब तक कोविड-19 की ड्यूटी में तैनात रहकर फील्ड मेंकाम कर रहे थे। अपर आयुक्त रजनीश कसेरा ने भाटिया के अधीनस्थ सभी स्टाफ की जांच कराने की बात कही है। शनिवार रात आई रिपोर्ट में 78 नए कोरोना मरीज मिलने से संक्रमित मरीजों की संख्या बढ़कर 1858 पर पहुंच गई है।

जानकारी के अनुसार भाटिया के संपर्क में रहने वाले ड्राइवर, अधीनस्थ सीएसआई, एसीएसआई, दरोगा औरअन्य स्टाफ की एहतियात के तौर पर जांच कराई जा रही है। हालांकि, अपर आयुक्त कसेरा का कहना है कि किसी भी निगमकर्मचारी में कोरोनावायरस के लक्षण नहीं हैं। इसके बावजूद एहतियात के तौर पर जांच कराई जा रही है।

गीता भवन अस्पताल में हर बुधवार बच्चों को लगेंगे टीके, 13 से शुरू
लॉकडाउन के चलते बच्चों को टीका लगाने को लेकर परिजनों के सामने परेशानी आ रही है। ऐसे में गीता भवन अस्पताल में अब हर बुधवार दोपहर तीन से पांच बजे तक बच्चों को टीके लगाए जाएंगे। यह सेवा 13 मई से शुरू होगी। अभी यहां रोज सुबह 9 से दोपहर डेढ़ बजे तक सभी विभागों की ओपीडी और आईपीडी सेवाएं उपलब्ध करवाई जा रही हैं। इसके अलावा लगभग 44 दिन में 800 से अधिक मरीजों का डायलिसिस किया गया है। गीता भवन ट्रस्ट के अध्यक्ष गोपालदास मित्तल, मंत्री राम ऐरन और अस्पताल के डायरेक्टर डॉ. आरके गौड़ ने बताया कि हाॅस्पिटल में रोज सुबह-शाम विभिन्न विभागों में ओपीडी लग रही है। कोरोना महामारी के कारण शहर में लॉकडाउन के चलते जिला प्रशासन ने गीता भवन हाॅस्पिटल को ग्रीन कैटेगरी के अस्पतालों की सूची में रखा है।



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नगर निगम के कर्मचारियों द्वारा शहर में लगातार सैनिटाइजेशन किया जा रहा है।




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कोरोना संक्रमित 54 फीसदी हुए स्वस्थ, अस्पताल से 51 को मिली छुट्टी

कोरोना संक्रमण के बढ़ते दायरे में बिहार के लिए खुशी की बात यह है कि अभी तक कुल संक्रमित मरीजों में से लगभग 54 फीसदी कोरोना वायरस को हराने में सफल रहे हैं। यह राष्ट्रीय औसत से अधिक है।

कोरोना संक्रमण से ठीक होने का राष्ट्रीय औसत 29 फीसदी के लगभग है। शनिवार को राज्य के 51 लोगों ने कोरोना वायरस को मात दिया। अभी तक कुल 318 लोगों को कोरोना संक्रमण पर जीत मिली है। शुक्रवार को 49 लोगों को हॉस्पिटल से छुट्‌टी मिली थी, जबकि बुधवार को 30, मंगलवार को 46 और सोमवार को 13 संक्रमित लोगों की अंतिम रिपोर्ट निगेटिव आई है।

शुक्रवार को गोपालगंज के 14, कैमूर और बक्सर के 9-9 मरीज, रोहतास के 6, सारण के 3, पश्चिम चंपारण के 3, औरंगाबाद के 2 के साथ-साथ पटना, मुंगेर और सीवान के एक-एक कोरोना संक्रमित स्वास्थ होकर घर गए।



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पटना के कोरोना हॉटस्पॉट राजाबाजार में सड़क पर तैनात पुलिस के जवान।




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पौधरोपण कर पर्यावरण संतुलन का दिया संदेश, लोगों से पौधे लगाने की अपील की

कोरोना के कारण बदली स्थिति में पर्यावरण की चिंता जरुरी है । इस समय ने सभी को एक तरफ अपने घरों में रहने को मजबुर है वही सभी को पर्यावरण के विषय पर भी गंभीरता से सोचने पर विवश किया है । इसी विषय को लेकर स्थानीय भाजपा नेता मनोज सिंह ने दर्जनों फलदार वृक्ष का वितरण कर लोगों से वृक्ष लगाने की अपील की । इस दौरान मनोज सिंह ने खुद भी एक पेड़ लगाकर उसके पोषण की जिम्मेवारी ली । मनोज सिंह ने कहा कि उनका पेड़ पौधों और प्रकृति से बचपन से लगाव रहा है।

कोरोना के कारण लोगों की रफ्तार के थमने से भी प्रकृति में बेहतर बदलाव आया है। यह समय अपने पर्यावरण को और अधिक बेहतर बनाने का भी है । हम सभी को वृक्षारोपण के लिये प्रेरित होना चाहिये और अधिक वृक्ष लगाकर पर्यावरण को आगे के लिये भी संतुलित, बेहतर बनाने के प्रयास जुट जाना चाहिये। बताचदे कि भाजपा नेता मनोज सिंह ने पिछ्ले साल अपने पिताजी के स्मृति में भी दस हजार फलदार वृक्षों का वितरण करवाया था और लोगों को वृक्षारोपण के लिये प्रेरित किया था। तब उक्त कार्यक्रम में पहुंचे बिहार के डिप्टी सीएम सुशील मोदी ने भी इस तरह की सोच की प्रशंसा की थी । मनोज सिंह ने कहा कि अपने जन्मदिन पर पेड़ लगाना एक सुखद अनुभव है और सभी को ऐसा करना चाहिये। इस अवसर पर नगर अध्यक्ष रामाशंकर प्रसाद मिठू, अध्यक्ष पूर्वी अनिल शर्मा, अध्यक्ष पश्चिमी बद्री नारायण सिंह, अश्विनी सिंह सहित अन्य उपस्थित थे।



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The message of environmental balance by planting saplings, appealed to people to plant saplings




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1200 प्रवासियों को लाने वाली केरल श्रमिक स्पेशल ट्रेन 6 घंटे लेट पहुंची

केरल से श्रमिक स्पेशल ट्रेन शनिवार देर शाम 12 सौ प्रवासियों को लेकर बेतिया रेलवे स्टेशन पर पहुंची। यह ट्रेन केरल के अल्लपूझा से श्रमिकों को लेकर आ रही है। इस ट्रेन को बेतिया स्टेशन पर शनिवार संध्या 4 बजे पहुंचनी थी। लेकिन 6 घंटे विलंब से ट्रेन करीब 8 बजे बेतिया रेलवे स्टेशन पर पहुंची। स्टेशन अधीक्षक अनंत बैठा ने बताया कि केरल से आने वाली ट्रेन अपने निर्धारित समय से करीब चार घंटे विलंब से चल रही है। ट्रेनों के विलंब से चलने को लेकर प्रशासनिक पदाधिकारियों एवं कर्मियों की परेशानी बढ़ती दिखी। वहीं कार्य पर तैनात रेलकर्मी की परेशानी भी कम नहीं रही। बेतिया पहुंचने वाले प्रवासियों की सुविधा एवं उनकी थर्मल स्क्रिनिंग कराने के लिए जिला प्रशासन की ओर से 16 काउंटर बनाए गए थे। सभी काउंटर पर जिला प्रशासन के निर्देश पर कर्मियों की तैनाती की गई थी।



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स्पेशल ट्रेन की इंतजार में चुस्त-दुरुस्त पुलिस प्रशासन।




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दूसरे राज्यों से लौटनेवाले लोगों की जांच के लिए सैंपल लें :डीसी

कोरोना वायरस कोविड-19 से बचाव व इसकी रोकथाम के लिए पूरे देश में लॉकडाउन की अवधि 17 मई तक के लिए बढ़ा दी गई है। जिला प्रशासन, रामगढ़ द्वारा कोविड-19 को रोकने के लिए सभी तरह के प्रयास किए जा रहे हैं। इसी क्रम में शनिवार को उपायुक्त संदीप सिंह ने जिले प्रशासनिक एवं स्वास्थ्य अधिकारियों के साथ बैठक कर कोरोना के विरुद्ध हो रहे कार्यों की समीक्षा की। इस दौरान उपायुक्त ने एमएचए द्वारा जारी गाइडलाइन के बाद देश के अलग-अलग राज्यों में फंसे रामगढ़ के प्रवासी मजदूरों/ नागरिकों के वापस लौटने के संबंध में पदाधिकारियों के साथ विस्तार पूर्वक चर्चा की। उन्होंने सिविल सर्जन, रामगढ़ को वापस आने वाले सभी प्रवासी मजदूरों/नागरिकों का अनिवार्य रूप से सैंपल इकट्ठा कर कोविड-19 जांच कराने का निर्देश दिया। उपायुक्त ने वापस लौटने वाले सभी प्रवासी मजदूरों/ नागरिकों से अनिवार्य रूप से होम क्वारेंटाइन का पालन कराने को कहा । कहा कि जितने भी लोग अलग-अलग राज्यों से वापस लौट रहे हैं उन सभी को अनिवार्य रूप से होम क्वारेंटाइन में रखते हुए जिला प्रशासन द्वारा 28 दिन तक उन सभी की मॉनिटरिंग की जानी है। बड़ी संख्या में देश के अलग-अलग राज्यों से लोगों के वापस आने के बाद संक्रमण के खतरे को देखते हुए वापस आने वाले सभी व्यक्तियों को आरोग्य सेतु एप से जोड़ा जाए।

इसके लिए जिनके पास स्मार्टफोन है उनके स्मार्टफोन फोन पर आरोग्य सेतु एप डाउनलोड करा कर व जिनके पास स्मार्टफोन नहीं है उन्हें दूरभाष संख्या 1921 पर फोन कर आरोग्य सेतु एप से जुड़ने के संबंध में जानकारी दी जाए। जिला प्रशासन द्वारा कोविड-19 के लिए क्वॉरेंटाइन सेंटर के रूप में चिन्हित की गई इमारतों की समीक्षा करते हुए उपायुक्त ने सभी क्वारेंटाइन सेंटर्स पर अनिवार्य रूप से पर्याप्त मात्रा में मास्क, सैनिटाइजर सहित अन्य जरूरी सामान अनिवार्य रूप से उपलब्ध रखने का निर्देश दिया। मौके पर उप विकास आयुक्त संजय सिन्हा, अपर समाहर्ता जुगनू मिंज, अनुमंडल पदाधिकारी कीर्तिश्री जी सहित जिले के अन्य पदाधिकारी उपस्थित थे।



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Take a sample to check on those returning from other states: DC




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प्रवासी मजदूरों के आने से बेरोजगारी चरम सीमा पर: मुखिया संगम बाबा

कोरोना की इस महामारी में जरुरतमंदो के जरुरतों को पूरा करने के लिये इसुआपुर के मुखिया संगम बाबा लगाकर क्षेत्रों में दौरा कर उनकी जरुरत की चीजें घर-घर पहुंचा रहे हैं वहीं संगम बाबा ने शुक्रवार को इसुआपुर प्रखंड के अफजलपुर, गोहाँ और मुङवाँ गाँव में असहायों के बीच खाद्य सामग्री का वितरण किया। वहीं संगम बाबा ने बताया की कोरोना को लेकर रोजगार के सभी साधन बंद हो गये हैं गांवों में जहाँ बिहार के बाहर प्रदेशों से आने वाले प्रवासी मजदूरों की संख्या बढ़ती जा रही है वहीं बेरोजगारी भी चरम सीमा पर है। अब मजदूरों को गांवों में खेतीबाड़ी को हीं आधार बनाकर इसी में रोजगार तलाशने होंगे और अपने परिवार का भरण-पोषण करना होगा। मौके पर विभिन्न गांवों में डा० जगलाल पंङित, पूर्व सरपंच कांति सिंह, ब्रजभूषण पंङित, विकास बाबा, टिन्कू सिंह, डा० नवलेश सिंह, वार्ड तेरस महतो, नागेश्वर साह, संतोष साह, लालबहादुर ठाकुर, चन्द्रदीप महतो, धर्मनाथ सिंह, जगदीश सिंह, बिरेंद्र सिंह,श्रीराम सिंह, मनोज स मौजूद थे।



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Unemployment at the peak of migrant laborers: Mukhiya Sangam Baba




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कई जगह पुलिस से पिटा, कई रात भूखे भी रहे तब चार दिन बाद साइकिल से पहुंचे नरकटिया

उत्तर प्रदेश से पांच दिहाड़ी मजदूर साइकिल से शुक्रवार की रात्रि नरकटियागंज पहुंचे हैं। पांचों मजदूर उत्तर प्रदेश के बाराबंकी से नरकटियागंज तक का सफर साइकिल से किए हैं। दिहाड़ी मजदूरों की पहचान नरकटिया गांव निवासी महताब आलम, जहांगीर आलम तथा गौनाहा थाना के मुरली भरवां गांव निवासी समसुद्दीन मियां, इकबाल मियां एवं समसूल मियां के रूप में किया गया है। उक्त लोगों ने बताया कि वे लोग बाराबंकी में दिहाड़ी मजदूरी का काम करते हैं। लाॅकडाउन के बाद से सभी लोगों का काम बंद हो गया। उनके पास जो भी पैसा था खत्म हो गया था। दो-दो दिनों तक भूखे पेट रहते थे। कभी कभी कोई सामाजिक संगठन के लोग आकर खाना दे जाते थे। मकान मालिक भी घर से निकलने का रोज तगादा कर रहे थे। लाॅकडान थ्री होते ही उनकी परेशानी बढ़ गई। सामाजिक संगठन के लोगों का आना भी बंद हो गया था। जब दो दिनों तक खाना देने कोई नहीं आया तो घर जाना ही इन लोगों ने मुनासिब समझा। चार दिन पहले पांचों मजदूर अपने-अपने साइकिल पर सामान बांध कर बाराबंकी से निकल पड़े। मजदूरों ने बताया भूखे पेट साइकिल भी नहीं चलती थी। रास्ते में दो तीन जगह पुलिस ने पकड़कर पिटाई भी किया। रात दिन साइकिल चलाकर वे नरकटियागंज पहुंचे हैं। मजदूरों ने बताया कि वे चार दिनों से कुछ भी नहीं खाया है।
मजदूरों ने बताया कि वे अपने गांव नहीं जाएंगे। गाइड लाइन का पालन करते हुए पहले क्वारेंटाइन में जाएंगे।



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साइकिल से नरकटियागंज पहुंचे मजदूर।




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लॉकडाउन में महिला ने एक साथ तीन बच्चों का दिया जन्म, सभी स्वस्थ हैं

प्रखंड के शिवगंज निवासी एक महिला ने अपने प्रथम प्रसव में तीन स्वस्थ बच्चों को जन्म दिया। महिला शिवगंज निवासी ललन साह की 21 वर्षीय पुत्री प्रियंका कुमारी बतायी गयी है । प्रियंका की शादी दो वर्ष पूर्व इसुआपुर के चिठ्ठी में हुई थी । शादी उपरांत गर्भ धारण करने पर तीन महीने पूर्व से अपने पिता के घर रह रही थी । बीती रात एक बजे के करीब उसे तेज प्रसव पीड़ा हुई।

आनन फानन में परिजन उसे स्थानीय रेफरल ले गये। इस दौरान परेशानी बढ़ने पर उसे निजी क्लीनिक ले जाया गया। जहां उसने तीन स्वस्थ बच्चों को जन्म दिया। तीन बच्चें होने के कारण उनका वजन कम होने की समस्या थी। बच्चें की सुरक्षा को लेकर उसे छपरा रेफर किया गया है। हालांकि चिकित्सक के अनुसार जच्चा बच्चा सभी स्वस्थ थे।



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Woman gives birth to three children simultaneously in lockdown, all healthy




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बासोपट्‌टी में प्रवासियों ने खाना कम मिलने का आरोप लगाया

योगापट्‌टी प्रखंड के बासोपट्‌टी पंचायत के राजकीय मध्य विद्यालय क्वारेंटाइन सेंटर पर रह रहे प्रवासियों ने वहां की व्यवस्था को लेकर नाराजगी जताई है। प्रवासियों ने कहा है कि क्वारेंटाइन सेंटर पर भर पेट भोजन नहीं मिल रहा है। हर चीज में कोताही की जा रही है। बार बार कहने के बाद भी प्रशासन इस दिशा में कोई पहल नहीं कर रही है। जिसकी वजह से उन्हें हंगामें पर उतारु होना पड़ा है। हालांकि सूचना के बाद प्रशासन व स्थानीय लोगांे ने प्रवासियों को समझा बुझाकर शांत कराया है। बताया जाता है कि केरल, राजस्थान, दिल्ली व लुधियाना से आए योगापट्‌टी प्रखंड के विभिन्न पंचायतों व गांवों के 80 प्रवासियों को बासोपट्‌टी स्थित क्वारेंटाइन सेंटर में रखा गया है। बाहर से आए प्रवासियों में कुछ श्रमिक स्पेशल ट्रेन से तो कुछ पैदल व दूसरे वाहनों आदि से प्रखंड से यहां तक पहुंचे है।
प्रवासी अनिरुद्ध प्रसाद, रंगीला राम, आलम अंसारी, मकसूद आलम, तेजामुल अंसारी, नाजिम अंसारी ने बताया कि सरकार इम्युनिटी बढ़ाने की बात कह रही है। लेकिन यहां के भोजन से वे लगातार कमजोर होते जा रहे है। आसपास के लोग तो अपने घरों से भोजन मंगाकर भूख शांत कर ले रहे। लेकिन बाहर के प्रवासियों को आधे पेट खाकर ही गुजारा करना पड़ रहा है।

क्वारेंटाइन सेंटर पर संक्रमण की रोकथाम के लिए नहीं मिली है किट
प्रवासियों ने बताया कि क्वारेंटाइन सेंटर पर आधे पेट भोजन के अलावा अन्य कोई व्यवस्था नहीं की गई है। न तो मास्क और नहीं सेनेटाइजर की व्यवस्था की गई है। जिसकी वजह से सेंटर पर संक्रमण का खतरा हरपल बना रह रहा है। इसके लिए भी प्रशासन से कई बार कहा गया लेकिन अधिकारी कहते है कि ऊपर से आने के बाद ही यह सब मुहैया कराया जा सकता है। प्रवासियों ने बताया कि साफ सफाई का भी घोर अभाव है। साबुन तक भी किसी को नहीं दिया गया है। नियमित जांच भी नहीं की जा रही है।

ग्रामीणों को सताने लगा है संक्रमण का भय
ग्रामीण विजय कुशवाहा, मनोज प्रसाद, पारस महतो, मदन शाह, लाल बिहारी कुशवाहा, जगदीश महतो, बुधन शाह आदि ने बताया कि क्वारेंटाइन सेंटर पर रह रहे प्रवासी सेंटर से बाहर निकल जा रहे है। शुक्रवार की शाम कुछ प्रवासी मजदूर सेंटर के बाहर निकलकर सड़कों पर टहलते देखे गए। प्रवासियों को समय सीमा के अंदर सेंटर से बाहर निकलकर घूमते देखे गए। ग्रामीणों ने बताया कि अगर प्रशासन ने इस पर रोक नहीं लगाया तो संक्रमण का खतरा बढ़ सकता है। लोगों में भय है।

क्वारेंटाइन सेंटर पर रह रहे सभी प्रवासियों को दोनों शाम का भोजन व अन्य सुविधाएं मुहैया करायी जा रही है। प्रवासियों द्वारा लगाया गया आरोप गलत है।
-अभिषेक कुमार, सीओ, योगापट्‌टी



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बासोपट्टी क्वारेंटाइन सेंटर में आक्रोशित प्रवासी।




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महाराणा प्रताप की जीवनी राष्ट्र निर्माण के लिए अनुकरणीय, वे वीरता और साहस के प्रतीक थे

महाराणा प्रताप की जीवनी राष्ट्र के लिए अनुकरणीय है। उनका त्याग एवं राष्ट्र के प्रति समर्पण आम लोगों के लिए भी प्रेरणास्रोत है।महाराजगंज के बीजेपी सांसद जनार्दन सिंह सिग्रीवाल ने शनिवार को अपने आवास पर महाराणा प्रताप की जयंती पर उनके चित्र पर माल्यार्पण करने के बाद कही। श्री सिग्रीवाल अपने पत्नी शिव कुमारी देवी एवं अन्य परिवार के साथ उनके चित्र पर माल्यार्पण किया।उन्होंने कहा कि केन्द्र सरकार लाकडाउन में आमलोगों के प्रति चिंतित है।सही समय पर लिए गए निर्णय के कारण ही आज देश सुरक्षित है।मांझी विधानसभा के बीजेपी के युवा नेता प्रमोद सिग्रीवाल ने कहा कि युवाओं के लिए महाराणा प्रताप का जीवन आज भी आत्मसात करने वाला है।
अदम्य वीरता और साहस के प्रतीक थे महाराणा प्रताप: प्राचार्य अरुण
वीर शिरोमणि महाराणा प्रताप की जयंती अलग-अलग संगठनों व दलों ने मनाया। लॉक डाउन के कारण कोई भव्य आयोजन नहीं हुआ। शहर के कटरा स्थित एसडीएस पब्लिक स्कूल तथा महाराणा प्रताप क्षत्रिय संगठन ट्रस्ट में भी अलग-अलग कार्यक्रम का आयोजन किया गया। सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करते हुए महाराणा प्रताप की जयंती मनाई गई। एसडीएस पब्लिक स्कूल में प्राचार्य अरुण कुमार सिंह ने महाराणा प्रताप के व्यक्तित्व व कृतित्व पर विस्तार से चर्चा की। उन्होंने कहा कि आने वाली पीढ़ी महाराणा प्रताप से युगों-युगों तक प्रेरणा लेती रहेगी। महाराणा प्रताप अदम्य वीरता व साहस के प्रतीक थे। बीजेपी नेता अनिल सिंह, धर्मेंद्र चौहान, डॉक्टर राकेश सिंह, मदन कुमार सिंह, विनोद कुमार, राजकुमार, आशुतोष पांडे, फुलटन सिंह,अरविंद,छोटू मुख्य रूप से थे। वहीं महाराणा प्रताप क्षत्रिय संगठन ट्रस्ट कार्यालय में भी जयंती कार्यक्रम का आयोजन हुआ। इस मौके पर अपने संबोधन में डॉ जयराम सिंह ने कहा की देश के लोगों के लिए उनका जीवन प्रेरणादायी है।

इसुआपुर: महाराणा प्रताप की जयंती मनाई गई
जदयू के वरीय नेता प्रदेश सचिव शैलेंद्र प्रताप सिंह के आवास पर शनिवार को महाराणा प्रताप सिंह की जयंती मनाई गई। कोरोना वायरस के महामारी से बचाव को लेकर सोशल डिस्टेंसिग का पालन करते हुए उनके चित्र पर फूल माला चढ़ाकर उन्हें नमन किया गया। उनके वीरता तथा शौर्य को याद किया गया। इस अवसर पर जदयू के प्रखंड अध्यक्ष छविनाथ सिंह ने कहा कि महाराणा प्रताप जंगलों में गुजर-बसर की। घास की रोटी खाई। इस मौके पर जदयू जल श्रमिक प्रकोष्ठ के जिला अध्यक्ष जयप्रकाश महतो, सत्येंद्र प्रसाद, श्री भगवान प्रसाद, जितेंद्र सिंह, लंकेश बाबा, श्याम प्रसाद हरीलाल भगत डा उपेंद्र सिंह व अन्य थे।

वीरता और स्वतंत्रता के पर्याय थे महाराणा प्रताप: शैलेंद्र प्रताप सिंह
जनता दल यूनाइटेड के प्रदेश सचिव शैलेंद्र प्रताप सिंह ने कहा कि महाराणा प्रताप ने जिस वीरता, स्वाभिमान और त्यागमय जीवन को वरण किया, उसी ने उन्हें एक महान लोकनायक और वीर पुरुष के रूप में सदा-सदा के लिए भारतीय इतिहास में प्रतिष्ठित कर दिया। यही कारण है कि महाराणा प्रताप वीरता और स्वाधीनता के पर्याय बन गए। महाराणा का काल ऐसा था जब मुगल सम्राट अकबर को अपनी विशिष्ट कार्य-शैली के कारण ‘महान’ कहा जा रहा था। लेकिन महाराणा प्रताप ‘महानता’ के पीछे छिपी साम्राज्यवादी आकांक्षा के विरुद्ध थे, इसलिए वे मुगलों के आगे कभी नहीं झुके। शैलेंद्र प्रताप सिंह ने कहा कि महाराणा प्रताप ने जिस वीरता, स्वाभिमान और त्यागमय जीवन को वरण किया, उसी ने उन्हें एक महान लोकनायक और वीर पुरुष के रूप में सदा-सदा के लिए भारतीय इतिहास में प्रतिष्ठित कर दिया। शैलेंद्र प्रताप सिंह ने कहा कि वीर शिरोमणि योद्धा महाराणा प्रताप अदम्य वीरता व साहस के प्रतीक, असंख्य भारतीयों के प्रेरणास्रोत, मातृभूमि की स्वाधीनता के लिए अपना सर्वस्व न्यौछावर कर भारतवर्ष की धरती को धन्य करने वाले वीर थे। आज के युवाओं को महाराणा प्रताप के जीवन का अनुसरण करना चाहिए। महाराणा न कभी झुके और न कभी रुके।



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Biography of Maharana Pratap exemplary for nation building, he was a symbol of valor and courage




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लड़की से छेड़खानी का बनाया वीडियो, पिता से की मारपीट

शिकारपुर थाना के एक गांव में दो नाबालिग लड़कियों का वीडियो बनाने व विरोध करने पर जबरन दोनों का हाथ पकड़कर छेड़खानी करने का मामला प्रकाश में आया है। लड़कियों द्वारा परिजनों को बताए जाने पर परिजनों द्वारा आरोपियों के घर इस संबंध में पूछताछ करने जाने पर पीड़िता के पिता को बुरी तरह पीटकर उनका मोबाइल व चेन छीन लिया गया है। मामले में पीड़ित पिता ने शिकारपुर थाना में एक आवेदन दिया है। थानाध्यक्ष केके गुप्ता ने बताया कि आवेदन मिला है। आवेदन आधार पर आरोपियों के घर छापेमारी की गई है। लेकिन आरोपी फरार हो गए है। पुलिस जल्द ही आरोपियों को गिरफ्तार कर लेगी।
बकरी चराने गई थी सगी बहनें : थाना को दिए आवेदन में किशोरियों के पिता ने कहा है कि शुक्रवार की संंंध्या उसकी दो नाबालिग लड़कियां बकरी चराने सरेह में गई थी। जहां क्रिकेट खेल रहे मिंटू मियां, अफजल मियां एवं गोल्डन मियां ने अपने अपने मोबाइल से दोनों का वीडियो बनाने लगे। किशोरियों ने जब इसका विरोध किया तो तीनों उनके पास पहुंच कर हाथ पकड़ लिया और दोनों से छेड़खानी करने लगे। किसी प्रकार आरोपियों से हाथ छुड़ाकर उनके चंगुल से भागकर दोनों लड़कियां घर पहुंची और अपने परिजनों को अपनी आपबीती सुनाई।
दी गई जातिसूचक गाली, बुरी तरह पीटा
दो बेटियों के साथ ऐसी घटना के बाद किशोरियों के पिता आरोपियों के घर पूछताछ करने गए। जिसपर आरोपियों ने उन्हें जातिसूचक गालियां देते हुए ढकेल दिया। विरोध करने पर आरोपियों ने उन्हें बुरी तरह पीटा और उनका मोबाइल तथा चेन छीन लिया। इसके बाद वे किसी प्रकार घर पहुंचे जहां से उन्हें अस्पताल ले जाया गया। जहां मरहम पट्टी व दवा देने के कुछ घंटों बाद उन्हें छोड़ दिया गया। पीडि़ताओं के पिता ने बताया कि आरोपी दबंग किस्म के बदमाश है। इस घटना के बाद उन्हें भय है कि वे कुछ कर न दे। इस वजह से थाना को आवेदन दिया है और न्याय तथा सुरक्षा की गुहार लगाई है।

कोचिंग पहुंचकर लड़की का हाथ पकड़ लिया, गले पर रख दी चाकू

किशोरी व युवतियों से छेड़खानी के मामलों में इजाफा होता जा रहा है। शुक्रवार को ही एक और मामला शिकारपुर थाना पहुंचा था। जहां शिकारपुर के ही एक गांव की महिला ने एक प्राथमिकी दर्ज कराते हुए कहा था कि उसकी पुत्री को गांव का एक दबंग किस्म का युवक हमेशा परेशान करता है। उसको सरेराह रोककर छेड़खानी करता है तथा शादी का दबाव बनाता है। शुक्रवार को भी वह उस किशोरी के कोचिंग में पहुंचकर सरेआम उसका हाथ पकड़ लिया और छेड़खानी करना शुरू कर दिया था। फिर चाकू गर्दन पर रखकर शादी का दबाव बनाने लगा। जिससे कोचिंग की अन्य छात्र भी भयभीत हो गए। घटना को घर में बताने के बाद किशोरी की मां ने शिकारपुर थाना में एक एफआईआर दर्ज करायी थी।

जांच के लिए पुलिस गई है

थानाध्यक्ष केके गुप्ता ने बताया कि आवेदन के आधार पर आरोपियों के घर छापेमारी की गई है। लेकिन आरोपी फरार हो गए हैं। मामले की जांच के लिए पुलिस को भेजा गया है। अविलंब पकड़ लिया जाएगा। इधर, नरकटियागंज एसडीपीओ सूर्यकांत चौबे ने बताया कि दोनों मामलों की गहनता से जांच की जा रही है। जांच के बाद कानूनी कार्रवाई की जाएगी।



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चापाकल का पानी गिराने पर मां और बेटी को पीटा

थाना क्षेत्र के नवरत्नपुर गांव में चापाकल का पानी गिराने पर गांव के ही कुछ लोगों ने मां-बेटी को मारपीट कर घायल कर दिया है। घायल बिन्दु देवी और उसकी पुत्री मनीषा कुमारी का प्राथमिक उपचार रेफरल अस्पताल तरैया में किया गया। इस सम्बंध में पीड़िता बिन्दु देवी ने सात लोगों पर एफआईआर दर्ज कराया है। जिसमें छोटेलाल माँझी, विशुनदेव माँझी, सेवालाल माँझी,प्रमिला देवी, अमरावती देवी, पुतुल देवी एवं लालमुनी देवी को अभियुक्त बनाया गया है। पीड़िता का आरोप है कि वह अपने चापाकल पर वर्त्तन धो रही थी। जिसका पानी भी अपने ही जमीन में गिरा रही थी। जिसको लेकर उक्त लोगों ने उसे मारपीट कर घायल कर दिया गया। जब उसे बचने उसकी पुत्री मनीषा कुमारी आयी तो उसे भी मारपीट कर घायल दिया गया। पुलिस मामले की जांच कर रही है।
भागवतपुर गांव में मछली पकड़ने के लिए अपने पोखड़े से पम्पसेट द्वारा पानी निकालने के कारण गांव के ही कुछ लोगों ने उसे मारपीट का घायल कर दिया है। घायल पीयूष प्रताप सिंह का प्राथमिक उपचार रेफरल अस्पताल तरैया में किया गया। पीड़ित ने इस सम्बंध में एक शिकायत प्रतिवेदन थाने में दिया है। जिसमें कन्हैया सिंह, दिनेश सिंह एवं महानारायण सिंह पर मारपीट करने तथा दिनेश सिंह पर मछली का 30 हजार रुपये छीनने का आरोप लगाया है। पुलिस मामले की जांच कर रही है।



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शिलान्यास के तीन माह बाद भी ब्रिटिश काल में बना पुल का निर्माण कार्य नहीं हुआ प्रारंभ

प्रखंड के तरैया बाजार स्थित भूतनाथ चौक के पास खदरा नदी पर स्थित जर्जर ब्रिटिश कालीन पुल के निर्माण कार्य तीन माह पूर्व शुरू किया गया था। लेकिन निर्माण कंपनी द्वारा बिना डायवर्सन बनाए ही सड़क को तोड़ दिया गया।जिससे आवागमन बाधित हो गया।फिर स्थानीय प्रशासन के सहयोग से कंपनी द्वारा तोड़े गए सड़क का मिट्टी करण कर आवागमन आंशिक रूप से बहाल किया गया। जहां आज वर्षात के कारण मिट्टी का क्षरण होने से गढ़ा बन गया है।

जिससे आए दिन दुर्घटनाएं हो रही है। शनिवार की सुबह एक तरबूज लदा हुआ पिकअप खादरा नदी में पलट गया है। जिससे चालक बाल-बाल बच गया।लेकिन निर्माण कंपनी द्वारा अब तक पुल निर्माण कार्य शुरू करने के लिए कोई कार्य नहीं किया जा रहा है। जिससे स्थानीय ग्रामीण आक्रोशित है।ग्रामीणों का कहना है कि वर्षात होते ही खदरा नदी में पानी भर जायेगा।जिससे मुख्य बाजार तरैया एवं अन्य गांवों का प्रखण्ड मुख्यालय एवं थाना से सम्पर्क टूट जायेगा।

पुल निर्माण की मिली है मंजूरी लेकिन नहीं हो रहा निर्माण
जर्जर ब्रिटिश कालीन पुल तरैया बाजार को प्रखंड मुख्यालय और थाना से जोड़ता है।विधायक मुद्रिका प्रसाद राय के प्रयास के बाद पुल के नवनिर्माण के लिए बिहार सरकार की ओर से स्वीकृति मिल गई है।2 करोड़ 47 लाख 97 हजार 870 रुपये की लागत से पुल का निर्माण होना है। निर्माण कार्य का शिलान्यास 7 मार्च 2020 को विधायक ने किया था।



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Construction of the bridge built during the British era did not start even after three months of the foundation stone.




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अब गर्भनिरोधक की होगी निःशुल्क सप्लाई, एचडीसी योजना के तहत की गई है बदलाव

कोरोना संक्रमण काल में सरकार द्वारा जहाँ इसकी रोकथाम के प्रयास किए जा रहे हैं, वहीं अन्य जरुरी स्वास्थ्य सुविधाओं का भी ख्याल रखा जा रहा है। इस दिशा में स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय भारत सरकार ने परिवार नियोजन सुविधाओं में भी एक नया बदलाव किया है।

वर्ष 2011 में आशा कार्यकर्ताओं द्वारा घर-घर जाकर गर्भनिरोधक साधनों की होम डिलीवरी करने के मकसद से वर्ष में होम डिलीवरी ऑफ़ कंट्रासेपटिव’ (एचडीसी) योजना की शुरुआत की गयी थी, जो अभी भी चलायी जा रही है। अब केंद्र सरकार ने इस योजना में बदलाव किया है। इसको लेकर स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय भारत सरकार के जॉइंट कमिश्नर डॉ. सुमिता घोष ने राज्य को पत्र लिखकर एचडीसी योजना में किये गए संसोधन के विषय में जानकारी दी है।

योजना के तहत अब होगी सिंगल पैकेजिंग:पत्र में जानकारी दी गयी है कि एचडीसी योजना के तहत एचडीसी सप्लाई एवं फ्री सप्लाई के दो विभिन्न पैकेजिंग भी की जा रही थी ताकि एचडीसी एवं फ्री सप्लाई में अंतर किया जा सके।लेकिन योजना की समीक्षा में यह पाया गया कि दो विभिन्न पैकेजिंग के कारण इसकी सप्लाई की ट्रैकिंग में भी समस्या देखी गयी. कभी-कभी एचडीसी सप्लाई पैक्स नहीं रहने की दशा में आशाओं को फ्री सप्लाई पैक्स ही दी जाती थी। जिससे रिपोर्टिंग में दिक्कत होती थी एवं इसकी सप्लाई करने पर आशा लाभर्थियों से कोई चार्ज भी नहीं कर पाती थी। इसलिए इसे ध्यान में रखते हुए केंद्र सरकार ने यह फैसला किया है कि गर्भनिरोधक की अब केवल फ्री सप्लाई ही की जाएगी। एचडीसी सप्लाई ,जिसमें लाभार्थी को उनके घर जाकर आशा द्वारा गर्भनिरोधक दी जाती थी, उसकी जगह केवल फ्री सप्लाई की सिंगल पैकेजिंग की जाएगी।



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Now there will be free supply of contraceptive, changes have been made under HDC scheme




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गुजरात से आए थे 11 छात्र, रोजे में रहने के बाद भी स्क्रीनिंग के लिए डॉक्टर व बीडीओ के पास 12 बजे तक लगाते रहे चक्कर

शनिवार को गुजरात के भरुच से 11 छात्र बाबूबरही स्वास्थ्य केंद्र पर पहुंचे। पहुंचने के बाद छात्रों को स्वास्थ्य जांच के लिए स्वास्थ्य केंद्र बाबूबरही से प्रखंड विकास पदाधिकारी के चेंबर तक कई घंटों तक चक्कर लगाना पड़ा। इसके बाद भी दिन के 12 बजे तक एक भी छात्र की स्वास्थ्य जांच नहीं हो पाई। छात्रों ने बताया कि डॉक्टर के पास जाते हैं तो वह बीडीओ के पास भेज देते हैं और बीडीअाे के पास जाते हैं तो वे डॉक्टर के पास भेज देते हैं। जिसके कारण से छात्रों में बेचैनी व गुस्सा देखा गया। सभी छात्र रोजा रखे थे। इसके बाद भी स्वास्थ्य केंद्र तथा प्रखंड विकास पदाधिकारी के चक्कर लगाना पड़ा।

बीडीओ बोले- मेरे संज्ञान में नहीं है ऐसी काेई भी जानकारी
गुजरात के भरुच से आए मदरसा के छात्रों ने स्वास्थ्य विभाग तथा बाबूबरही के कोरोना मैनेजमेंट के खिलाफ आरोप लगाते हुए कहा कि शनिवार रात्रि तकरीबन 3 बजे रात्री में बाबूबरही स्वास्थ्य केंद्र पहुंचे। जहां स्वास्थ्य जांच के लिए स्वास्थ्य केंद्र और प्रखंड कार्यालय के कई घंटा तक चक्कर लगाते रहे। लेकिन स्वास्थ्य जांच नहीं हो पाई। वहीं चिकित्सा विभाग का कहना है कि यहां पर थर्मल स्क्रीनिंग की कोई व्यवस्था नहीं है। देश के अन्य राज्यों से आए प्रवासियों को पहले किसी क्वारेंटाइन सेंटर में रहना है, जहां मेडिकल टीम जाकर उन लोगों के स्वास्थ्य जांच करती है। वहीं बीडीओ प्रकाश कुमार ने बताया कि इस तरह की बात हमारे संज्ञान में नहीं आई है।



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बाबूबरही में स्क्रीनिंग कराने के लिए परेशान हो रहे छात्र।




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ब्रह्मपुर में जल-जमाव काे ले परेशान लोगों ने किया प्रदर्शन, एनएच 19 पर पर पहुंच कर की नारेबाजी

शहर के ब्रह्मपुर पुल के पास वार्ड नं 2 में सड़क पर जलजमाव के कारण लोग वर्षो से परेशान हैं। इसको लेकर लोगों ने एनएच 19 पर प्रदर्शन किया।बताया जाता हैं कि जलजमाव के कारण दर्जनों घर के परिवारों को नाला में घुस कर सड़क पार करना पड़ता हैं जिसे बच्चे, बुजुर्ग साईकिल सवार हमेशा गिरते पड़ते रहते हैं। जिसे दर्जनों परिवारों के लोगों को घर से निकलने में भाड़ी कठिनाइयों का सामना करना पड़ता हैं। यह मुख्य सड़क एनएच 19 को जोड़ती हैं। ग्रामीणों का कहना हैं कि जलनिकासी को मांग को लेकर स्थानीय विधायक एवं वार्ड पार्षद को अवगत कराने पर विधायक द्वारा जलजमाव का स्थिति का जायजा लिया गया। लेकिन फिर भी उचित कार्रवाई नही की गई।

वहीं विकलांग राजेश शर्मा ने कहा की वर्षो से जल एकत्रित होने के कारण यहां कीड़े मकोड़े एवं मच्छरों का अंबार लगा है जिसे मेरे और परिवारों के सदस्यों का हमेशा तबियत खराब रहता हैं। उन्होंने कहा कि कोरोना से बाद में मरेंगे पहले हमलोग दूषित जल के गन्ध से मर जाएंगे। उन्होंने कहा जल एकत्रित होने कारण मैं केवल दिव्यांग पेंशन लेने के लिए बाहर जाता हूं। वही भूषण राय ने कहा की नाला का पानी के गन्ध से यहाँ रहना दुष्वार हो गया हैं हमेशा घरों के दरवाजे खिड़की बंद रखना पड़ता हैं।

बताया जाता हैं उन्होंने कहा कि स्थानीय विधायक एवं वार्ड पार्षद को इस समस्या को लेकर कई बार अवगत कराया गया।जिसके बाद प्रदर्शन किया गया। प्रदर्शनकरने वाले में सुनीता देवी ,अनिता देवी, जानकी देवी ,राजेश शर्मा, भूषण राय, रमेश श्रीवास्तव,पवन मिश्रा,बिगन चौधरी,अनिल कुमार के अलावा आदि लोग मौजूद रहे।



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People agitated over water logging in Brahmapur, sloganeering on NH 19




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डकैती,हत्या व लूट मामले के नामजद सात अपराधी गिरफ्तार, भेजे गए जेल

तीन थाना पुलिस की संयुक्त कार्रवाई में दबोचे गए सातों अपराधियों को पूछताछ के बाद शुक्रवार को जेल भेज दिया गया। दो अपराधी हत्या के केश में वांटेड थे। सात में तीन के खिलाफ पहले से ही मामला जिले के विभन्न थानों में दर्ज है। तीन अपराधी पहले भी जिले के विभिन्न थानों से डकैती, हत्या तथा लूट की घटना में पहले भी जेल जा चुके हैं। चार पहली बार अपराध की योजना बनाते पुलिस के हत्थे चढ़े है।

गिरफ्तार प्रणय कुमार उर्फ नौटंकी के विरुद्ध मांझी थाने में पहले से हत्या, आर्म्स एक्ट तथा लूट की तीन कांड तथा अमनौर में दो लूट की प्राथमिकी दर्ज है। अप्पू के विरुद्ध पहले ही अमनौर में दो लूट की प्राथमिकी दर्ज है। जबकि बमभोला के विरुद्ध दिघवारा में हत्या तथा आर्म्स एक्ट की प्राथमिकी दर्ज है। सभी अपराधियों की उम्र 18 से 20 वर्ष के बीच है।
सीवान में शुरू हुई छापेमारी
पुलिस ने पूछताछ के बाद मिले कुछ महत्वपूर्ण सुराग के बाद अन्य अपराधियों की गिरफ्तारी की लिए लगातार सीमावर्ती क्षेत्रों सहित कई जगहों पर छापेमारी शुरू कर दी है। वहीं संदेह के घेरे में आये लोगो से पूछताछ कर रही है। पुलिस पड़ोसी जिले के कई थानों की पुलिस से सम्पर्क कर संदिग्धों की पहचान में जुटी है। अपराधियों के पास से बरामद मोबाइल के सीडीआर पुलिस खंगाल रही है। सीडीआर से कई अपराधियों की पहचान होने की जानकारी मिली है। उनके मोबाइल लोकेशन लेकर गिरफ्तारी के लिए पुलिस छापेमारी कर रही है। स्थल पर प्रयोग किये गये मोबाइल से सभी की पहचान पुलिस के द्वारा की जा चुकी है। पुलिस सूत्रों के अनुसार कई लोग संदेह के घेरे में है। जल्द हीं एक बड़े गिरोह का पर्दाफाश होने की उम्मीद है।

किराना दुकान का फाटक तोड़ कर अज्ञात चोरों ने गल्ले से सिक्के चुराये
थाना क्षेत्र के फुटानी बाजार स्थित रामजान किराना स्टोर का टिन का फाटक रात में तोड़कर अज्ञात चोरों ने गल्ले से लगभग 500 से 600 रुपये के सिक्के की चोरी कर ली है।इस संबंध में दुकानदार फरीदपुरा निवासी मो.रामजान ने थाने में शिकायत दर्ज कराई है।पीड़ित का कहना है कि गुरुवार की संध्या वह अपना दुकान बन्द करके घर चला गया।जब सुबह दुकान पर पहुंचा तो दुकान का टिन से निर्मित फाटक थोड़ा सा टूटा हुआ था। फिर उसने पुलिस को सूचना दिया फिर जब पुलिस गयी तो वह अपने दुकान का ताला खोला तो दुकान का समान सब ठीक था। केवल गल्ले के कुछ सिक्के गायब थे। पुलिस जांच कर रही है।

स्कूल से बैट्री समेत अन्य समान चोरी के आरोप में पुलिस ने किया दस युवकों को किया गिरफ्तार
परसा बाजार में छापेमारी कर स्थानीय पुलिस ने दस युवकों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। गिरफ्तार सभी युवक परसा बाजार के ही निवासी है। दस दिन पूर्व उत्क्रमिक मध्य विद्यालय परसागढ़ हिंदी स्कूल से इनवर्टर बैटरी सोलर आदि सामनो की गई थी वही उमाशंकर मोड़ के एक दुकानों में भी चोरी की गई थी जिसमें इन सभी की संलिप्तता बताई गई। पुलिस के इस करवाई से स्थानीय बाजार में तरह तरह के चर्चाएं हो रही है । गिरफ्तार युवकों में मुख्य रूप से राहुल कुमार, मनीष कुमार, राकेश कुमार, लालू कुमार, टुन्ना कुमार, नीरज कुमार, चंदन कुमार, प्रेम कुमार, पंकज कुमार,आदि शामिल है।



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Seven criminals arrested for robbery, murder and robbery case arrested, sent to jail




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अंधारवन में ईंट-भट्‌ठी में प्रबंधक की गोली मारकर हत्या की दी गई

लौकहा थाना क्षेत्र के अंधारवन गांव स्थित एक चिमनी भट्ठा पर अज्ञात अपराधियों ने एक व्यक्ति को गोली मारकर हत्या कर दिया। पहले उक्त व्यक्ति के सर पर धारदार हथियार से वार किया गया। इसके बाद तीन राउंड गोली मारी गई। उसकी पहचान रामपुर गांव के 50 वर्षीय जय नारायण यादव के रूप में हुई है। अंधारवन गांव में गणपति ईट भट्ठा है, जहां पूर्व से दो पार्टनर मिलकर ईट भट्ठा को संचालित कर रहा था। वहीं नए पार्टनर के रूप में जय नारायण यादव उन लोगों के साथ पार्टनरशिप किया था। इसके बाद तकरीबन 85 लाख रुपए पूर्व के दोनों पार्टनर को जयनारायण ने दिया था। वहीं शनिवार को तकरीबन 12 बजे जय नारायण यादव पांच लाख रुपए लेकर ईंट भट्टा पर गया था। जहां ईंट भट्ठा के कार्यालय में जय नारायण यादव को अपराधियों ने गोली मार दी। पुलिस घटनास्थल पर पहुंचकर शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है

जल्द ही गिरफ्तार होंगे बदमाश : डीएसपी
इस संबध में फुलपरास डीएसपी सुनीता कुमारी ने बताया कि जय नारायण ईंट भट्‌टा का प्रबंधक था। इनकी गोलीमार हत्या कर दी गई। अभी तक परिजनों के द्वारा आवेदन नहीं दिया गया। अभी अपराधियों की पहचान नहीं हुई। पुलिस बदमाशाेंके संभावित ठिकानों पर छापेमारी कर रही है। जल्द ही बदमाशों को गिरफ्तार कर लिया जाएगा।



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जयनगर बाजार में सोशल डिस्टेंस का नहीं होता पालन, प्रशासन भी नहीं करता कार्रवाई

जहां सरकार कोविड-19 वायरस से बचाव एवं इसे खत्म करने के लिए कई तरकीब अपना रही है। तो वही जयनगर सब्जी बाजार में लोग खतरनाक कोविड 19 वायरस से जैसे बेपरवाह है। ये अदृश्य वायरस मानव के टच में आते ही तेजी से बड़े पैमाने पर लोगो को अपने चपेट में ले सकते है।
कोरोना वायरस की कड़ी को तोड़ने के लिये लॉक डाउन एवं सोशल डिस्टेंसिंग एक मात्र दवा है। इसके बाबजूद खासकर सब्जी बाजारो में लोग सोशल डिस्टेंसिंग का पालन नही कर रहे है। और न ही दुकानदार नियम का पालन ढंग से कर रहे है। इस प्रकार का आलम किराना गली में भी देखा जा रहा है। नरार, बरही,कमलाबाड़ी समेत बॉर्डर से सटे सैकड़ो गांव के लोग खरीदारी को लेकर शहर पहुंचते है। बता दे की नरार में दो, बरही में दो एवं कमलाबाड़ी फुलकाहा में एक कोरोना पोजेटिव मरीज मिल चुके है। बाबजूद प्रशासन सब्जी बाजार में लगने वाली भीड़ पर कंट्रोल नही कर पा रही है।
प्रति दिन बाजार एवं शहर से सटे ग्रामीण इलाकों में लॉक डाउन एवं सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां उड़ रही है। ऐसी बात नहीं है कि प्रशासन इस दिशा में पहल नही कर रही है।
वरीय अधिकारियों के द्वारा सख्ती से कार्रवाई करने के बाबजूद कुछ लोग चौक चौराहे पर अनावश्यक रूप से जमाबड़ा लगाने से बाज नही आ रहे है। प्रशासन ने कई बार लॉक डाउन व सोशल डिस्टेंसिंग नियमो को तोड़ने वाले के विरुद्ध केस दर्ज करने की बात कही है। किराना गली, प्रखंड क्षेत्र के विभिन्न बैंक, ग्राहक सेवा केंद्रों समेत सार्वजनिक जगहों पर सोशल डिस्टेंसिंग फेल है। ईओ अमित कुमार ने बताया की सोशल डिस्टेंसिंग तोड़ने वाले के विरुद्ध सख्ती से कार्रवाई की जाएगी।



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जयनगर सब्जी मंडी में लगी लोगों की भीड़।




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बस नहीं मिली, तो घोड़ागाड़ी से रांची निकल गए मजदूर

ईट भट्ठा और अन्य कार्यों से जीवन यापन करने वाले सैकड़ो मजदूर परिवारों की लाइन इन दिनों सुबह से शाम तक एनएच 722 पर लगी रह रही है। मुजफ्फरपुर दरभंगा समस्तीपुर मधुबनी आदि जिलों से टमटम (घोड़ागाड़ी )से जाते सैकड़ों को ये परोसी राज्य झारखंड के रांची के रहने वाले हैं।

पिछले दिनों सरकार ने बस से प्रवासी मजदूरों का लाने का कार्य शुरू किया परंतु ग्रामीण और पिछड़े इलाके में ऐसे कई लोग हैं जो मोबाइल का इस्तेमाल नहीं कर रहे हैं। उन लोगों का रजिस्ट्रेशन नहीं होने के कारण बस की सुविधा नहीं मिली बाद में थक हार कर घोड़ा गाड़ी पर सभी समान लाद कर सपरिवार अपने घर को चल दिए इन सभी से भास्कर टीम ने जब पुनः कब आकर काम करने का प्रश्न पूछा तो जवाब था कि अब अपने घर पर ही रह कर जो काम मिलेगा।



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60 क्वारेंटाइन कैंप में रखे गए 3470 प्रवासी

डीएम सुब्रत कुमार सेन के द्वारा बताया गया है कि बाहर से आ रहे सारण जिला के 3470 लोगोंको प्रखंडों में बनाये गये 60 क्वेरेंटीन कैम्प में रखा गया है जबकि प्रखंडों में कुल 127 क्वेरेंटीन कैम्प बनाये गये है। जहां 16 हजार लोगों को आवासित किया जा सकता है। अभी तक बाहर से तीन ट्रेनें छपरा जं0 पर आयी है जिससे दो ट्रेन सूरत से तथा एक घटकेसर (तेलंगना) से आयी है। जिसमें सारण जिला के कुल 757 लोग आये हंै। प्रति दिन बिहार के दूसरे जिले से भी लोग सारण आ रहे हैं। सभी लोगों को प्रखंड क्वेरेंटीन कैम्प में रखने की व्यवस्था बनायी गयी है।

डीएम ने बताया कि 8 मई को कोटा से 350 छात्र ट्रेन के माध्यम से आरा जिला आये। जहां से उन्हें बस से छपरा लाया गया और उनके संबंधित प्रखंडों में स्वास्थ्य जांच कराकर तथा उनसे स्वघोषणा पत्र लेकर उन्हें उनके अभिभावक को सौंप दिया गया। जहां वे होम क्वेरेंटाइन में रहेंगे। डीएम ने बताया कि प्रवास से आये 134 लोगो का सैम्पल कलेक्ट कर जांच के लिए भेजा गया है जिसमें 34 का रिपोर्ट प्राप्त हो गया है जो निगेटिव आया है। इस प्रकार जिला से अभी तक 907 सेम्पल जांच के लिए भेजा गया है।

जिसमें 770 का रिपोर्ट प्राप्त है। जिला में कुल 35 लोगों को जिला के क्वेरेंटाइन में तथा एक पॉजीटिव व्यक्ति को आइसोलेशन में रखा गया है। छपरा जं.पर अभी तक 9 सस्पेक्टेड व्यक्तियों की पहचान की गयी है। 10 एवं 12 मई को भी जिले में सूरत से प्रवासियों के आने की सूचना प्राप्त है। डीएम के द्वारा बताया गया है कि कोरोना संक्रमण को देखते हुए जिला प्रशासन के द्वारा 320544 घरों की डोर टू डोर सर्वे कराने का लक्ष्य निर्धारित किया गया था।

1,34,680 प्रवासियों को मिले एक-एक हजार
जिलाधिकारी के द्वारा बताया गया है कि मुख्यमंत्री विशेष सहायता के लिए सारण जिला के 134680 प्रवासियों के भुगतान की अनुशंसा जिला प्रशासन द्वारा आपदा प्रबंधन विभाग बिहार, पटना को किया गया है।
आपदा प्रबंधन विभाग द्वारा इन सभी के खाते में रूपया 1000/- की राशि हस्तांतरित की गयी है। यह कार्य पूर्ण कर लिया गया है। अब किसी का आवेदन लंबित नहीं है।

कहां कितने दर्ज कराए गए कॉल
डीएम ने कहा कि विभागीय निर्देशानुसार गठित सभी कोषांग सफलतापूर्वक कार्यरत हंै। जिला आपातकालीन संचालन केन्द्र 06152-245023 पर 4566 काॅल, जिला नियंत्रण कक्ष 06152-242444 पर 456 काॅल, स्वास्थ्य विभाग सारण, छपरा के नियंत्रण कक्ष 06152-244812 पर 1376 काॅल, प्रखंड स्तरीय चिकित्सा केन्द्र पर स्थापित नियंत्रण कक्ष पर 15182 काॅल प्राप्त हुए हैं।



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पति की मौत के बाद न ससुराल और न ही मायके ने अपनाया, अकेले दो बच्चों की कर रही परवरिश

समाज में मां के रूप को सर्वोच्च स्थान मिला है। क्योंकि बच्चों के लिए मां सबसे अधिक कोमल है तो उनकी रक्षा के लिए वे सबसे शक्तिशाली भी बन जाती है। इसका सही उदाहरण सदर अस्पताल स्थित ब्लड बैंक में कार्यरत किरण कुमारी हैं। पति की मौत के बाद ससुराल वालों ने अपनाने से मना कर दिया फिर कुछ दिनों बाद मायके वालों ने भी ताना मारना शुरू कर दिया लेकिन बच्चों की परवरिश के कारण उन्होंने हिम्मत नहीं हारी। उनकी कहानी संघर्ष व सफलता की मिसाल पेश करती हैं। अब जीवन का एक ही लक्ष्य है कि बच्चों को अच्छी शिक्षा देकर बड़े अधिकारी बनाने की ताकि उनका सपना उनके बच्चे पूरा करें व बच्चों की सफलता से मैं सारी परेशानियों को भूल सकूं।
2007 में हुई थी शादी : किरण कुमारी ने बताया कि वर्ष 2007 में उनकी शादी हुई थी। जिसके बाद वे अपने पति के साथ दिल्ली में रह रही थी। 2014 में उनके पति का निधन हो गया। उस समय उनकी बेटी की उम्र महज 06 साल व बेटे का उम्र 03 साल था। 15-20 दिनों के बाद अपनाने में आनाकानी शुरू हो गई, जिसके बाद वो मायके चली गई। लेकिन, मायके में भी छह-सात माह बीतने के बाद इनको व इनके बच्चों को मायके में भी आस पड़ोस के लोगों ने ताना मारना शुरू कर िदया। अलग से भाड़े पर घर लेकर बच्चों की परवरिश शुरू कर दी।
बच्चाें काे नहीं हाेने दी कभी किसी चीज की कमी: किरण कुमारी ने बताया कि पति के निधन के बाद ससुराल व मायके से बिना किसी सहयोग के अकेले दोनों बच्चों को पालने में कई तरह की परेशानियों का भी सामना करना पड़ा। लेकिन कभी भी बच्चों पर इसका असर नहीं पड़ने दिया। 2018 से सदर अस्पताल में कार्यरत हैं।



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बच्चों के साथ किरण कुमारी।




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वासुदेव सिंह डिग्री कॉलेज क्वारेंटाइन सेंटर में रह रहे 223 लोगों की स्क्रीनिंग

मशरक प्रखंड कार्यालय परिसर के बगल में बाबा वासुदेव सिंह डिग्री कालेज मशरक महाविद्यालय मशरक में दूसरे राज्यों से आये 223 प्रवासी लोगों को क्वारेटिंन कैम्प में घर, समाज से अलग रखकर सारी सुविधाएं दी जा रही है। शनिवार तक टोटल 223 लोग कैम्प में पहुंचे हैं जिनका प्रतिदिन मशरक पीएचसी के द्वारा गठित मेडिकल टीम सभी का थर्मल स्कैनिग मशीन द्वारा स्वास्थ्य जांच किया जा रहा है। सीओ ललित कुमार सिंह, बीडीओ राजीव कुमार सिन्हा, थानाध्यक्ष रतनेश कुमार वर्मा ने क्वारेंटिंन कैम्प का जायजा लिया।

सीओ ललित कुमार सिंह ने बताया कि डिग्री कालेज और इंटर कॉलेज में बने क्वारेन्टीन सेन्टर में 223 लोगों को रखा गया है। इन केन्द्रों पर ठहरे लोगों के लिए ताजा गर्म भोजन, पीने का साफ पानी, अलग अलग बेड पर गद्देदार बिछावन, प्रयाप्त रोशनी व पंखा लगा है। पहले से शौचालय था। इसके बाद भी डीएम के निर्देश पर प्रयाप्त मात्रा में शौचालय व स्नानघर बनाया गया है। अधिकारियों के निरीक्षण के दौरान चावल, दाल व आलू-पटर का सब्जी खिलाया जा रहा था।

बावजूद कुछ लोग घर जाना चाह रहे है। अन्य बुनियादी सुविधाओ की व्यवस्था की गयी है। वही सेंटर पर रह रहे लोगों के स्वास्थ्य जांच के लिए मेडिकल टीम की एक टुकड़ी मौजूद है। जो इलाज के साथ दवाएं भी उपलब्ध करा रहीं हैं। बीडीओ राजीव कुमार सिन्हा ने बताया कि क्वारेटिंन कैंप में रह रहे प्रवासी के लिए सेन्टर पर सदृढ़ व्यवस्था की गई है। खाना बनाने से लेकर खिलाने और सुरक्षा के लिए कर्मचारी लगाये गये है।



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Screening of 223 people residing at Vasudev Singh Degree College Quarantine Center




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मारपीट की घटनाओं को लेकर अलग-अलग थाने में 8 प्राथमिकी दर्ज हुई

बेनीपट्टी थाने में थाना क्षेत्र के विभिन्न गांवों में मारपीट की हुई घटनाओं को लेकर 8 अलग-अलग प्राथमिकी दर्ज की गई है। थाना क्षेत्र के जगत गांव के बटोही यादव ने रौशन यादव, सचिन यादव, छोटू यादव, प्रदीप यादव, अरुण यादव, ज्ञानी यादव व फूलो देवी पर ठेकेदार का गिट्टी ले जाने से मना करने पर लाठी-डंडा, फरसा, रॉड, टेंगारी से हमला कर मारपीट कर जख्मी करने, गाली-गलौंज करने, जान से मारने की कोशिश करने और बाइक छोड़कर भागने का आरोप थाने में दर्ज प्राथमिकी में लगाया है। वहीं जगत गांव के अरुण यादव की पत्नी फूलो देवी ने सरोज यादव सहित नौ लोगों के खिलाफ में डायन कहकर अपमानित करने, गले में गमछा लगाकर मारपीट करने आदि आरोप दर्ज प्राथमिकी में लगाई है। पाली मझिला टोल के राजेश कुमार गुप्ता ने सत्यनारायण पंडित सहित छह लोगों पर उनकी पत्नी के साथ दुर्व्यवहार व मारपीट करने, भतिजा के साथ मारपीट करने का आरोप लगाया है। वहीं सत्यनारायण पंडित ने अशोक गुप्ता सहित एक दर्जन लोगों पर फरसा से सिर पर हमला कर जख्मी करने का आरोप लगाया है। छोलकाढ़ा के बेचन पासवान ने शाहपुर के अनिल सिंह उर्फ लाल सिंह सहित तीन लोगों पर जबरन गाड़ी में बैठाकर घर ले जाकर बंद करने, मारपीट करने, गाली-गलौंज करने, पिस्तौल सटाने व जाति सूचक शब्द कहकर प्रताड़ित करने, सादा कागजात पर हस्ताक्षर कराने का आरोप लगाया है। फुलबरिया के योगेंद्र प्रसाद ने रामनारायण पांडे व उनके दो पुत्रों पर उनके व उनकी पत्नी के साथ मारपीट करने व छिनतई करने का आरोप लगाया है। सनहौली के मो. वसी अहमद की पत्नी चांदनी खातून ने नौशाद सहित सात लोगों पर मारपीट करने का आरोप लगाया है। इधर, पुलिस ने थाने में छोलकाढ़ा के अगरोपट्टी चौक के पेड़ा दुकानदार रामअवतार मुखिया पर दुकान में अंग्रेजी शराब रखने के आरोप में प्राथमिकी दर्ज की है।



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सूरत से दूसरी बार आई विशेष ट्रेन से 1206 प्रवासी पहुंचे छपरा जंक्शन, स्क्रीनिंग में सभी मिले स्वस्थ

लगातार तीसरे दिन श्रमिक स्पेशन ट्रेन छपरा जंक्शन पहुंची। सूरत से आने वाली यह दूसरी खेप की ट्रेन थी। गुरुवार को सूरत से पहली श्रमिक स्पेशल ट्रेन आयी थी और शुक्रवार को तेलंगना से आयी। शनिवार सर्वप्रथम जिलाधिकारी और पुलिस अधीक्षक के द्वारा ट्रेन की सबसे पिछली बोगी तक जाकर निकलने वाले सबसे पहले व्यक्ति का स्वागत किया गया। इसके बाद बारी-बारी से लोगों के उतरने का सिलसिला शुरू हुआ। लोगों ने अपने धैर्य का परिचय दिया और सभी प्रक्रियाओं का समुचित रूप से पालन किया। प्लेटफार्म पर हीं लोगों को और उनके बैग या थैले को सैनिटाइज किया गया। इसके लिए टीम लगी हुयी थी।
स्टेशन पर खाने और पीने की भी की गई थी पूरी व्यवस्था
प्लेटफार्म से बाहर निकलने पर सभी की स्क्रीनिंग की गयी। जिसके लिए 14 काउण्टर बनाये गये थे और सभी काउण्टर पर दो-दो प्रशिक्षित चिकित्सा कर्मी लगाये गये थे। इसके बाद सभी लोगों को जिला प्रशासन द्वारा तैयार कराये गये फुड पैकेट्स और पानी का बोतल दिया गया। बच्चों को अलग से बिस्किट, टॉफी और कुरकुरे का पैकेट दिया गया। उसके बाद लोगों को उनके गंतव्य के जिलों में बसों के माध्यम से भेज दिया गया। जंक्शन पर काफी अच्छी व्यवस्था की गयी थी, छपरा जंक्शन को फुलों और गुब्बारों से सजाया गया था। प्रवासी यात्री छपरा पहुंच कर काफी खुश दिखे। आगंतुकों के द्वारा यहां की गयी व्यवस्था को काफी अच्छा बताया गया। छपरा जंक्शन पर आये 1206 लोगों में सबसे अधिक मुजफ्फरपुर जिला के 375, सारण जिला 321, गया के 175, पटना 169, दरभंगा के 77, पुर्णिया 28, सहरसा के 23, भागलपुर 20, और मुंगेर जिला के 15 व्यक्ति शामिल थे।
21 दिन गृह प्रखंड में बनाए गए क्वारेंटाइन कैंप में रखा जाएगा
इस अवसर पर मीडिया से वार्ता में जिलाधिकारी सुब्रत कुमार सेन ने कहा कि आये हुए सभी लोगों को उनके गृह जिला में भेजा जा रहा है जहां से उन्हें उनके गृह प्रखंड में बनाए गये क्वारेंटाइन कैम्प में रखा जाएगा। सारण जिला में भी जो 321 लोग आज सूरत से आये है। उन्हें भी उनके गृह प्रखंड में बनाये गये क्वेरेंटाइन कैम्प में भेजा जा रहा है। इस कैम्प में उन्हें 21 दिन रखा जाएगा। वहां सभी लोगों को डिग्निटी किट उपलब्ध कराया जाएगा जिसमें पहनने का कपड़ा, थाली-ग्लास, बाल्टी-मग, साबुन-सर्फ, ऐनक-कंघी, टूथपेस्ट-ब्रस आदि रहेगा। इन कैम्पों में सुबह में नाष्ता और दो बार का भोजन ससमय उपलब्ध कराया जाएगा।

इन्फ्लूएंजा के लक्षण वाले लोगों के लिए गए सैंपल
जिलाधिकारी ने बताया कि बाहर से आये हुए 134 प्रवासियों का सैम्पल जांच के लिए भेजा गया है तथा सिविल सर्जन को निर्देश दिया गया है कि कोरेन्टाइन कैम्प में रह रहे एवं आने वाले प्रवासियों में सभी बुजुर्ग व्यक्तियों तथा इन्फ्लूएंजा के लक्षण वाले व्यक्तियों का सैम्पल लेकर जांच करा ली जाये।

55 बसों से राज्य के विभिन्न जिलों के लिए भेजे गए सभी यात्री
1206 लोगों को सूरत से लेकर स्पेशल ट्रेन छपरा जंक्शन पर पहुंची ट्रेन की अगवानी करने के लिए डीएम एसपी एसडीओ समेत तमाम पदाधिकारी तैनात थे। अफसरों ने यात्रियों का स्वागत किया फिर उनकी स्वास्थ्य जांच कराई। उनके जिलों के लिए विदा कर दिया छपरा जंक्शन से कुल 55 बसें बिहार के विभिन्न जिलों के लिए खुली।

यात्रियों ने सारण की धरती को चूमकर जताई खुशी
छपरा जंक्शन पहुंचते हे यात्रियों ने उन्होंने धरती को चूमा और फिर बहुत ही खुशी जताई उन्होंने कहा कि सारण में आ गए हैं तो हम अपने घर में आ गए हैं अब कोई टेंशन नहीं है ना ही ना ही कोई परेशानी है यात्री अमित कुमार गुप्ता ने बताया कि वे सूरत में एक फैक्ट्री में काम करते थे जहां पर वह किराए में रहते थे कंपनी बंद हो गई तो किराएदार ने भगाना शुरू कर दिया वह अपना किराया मांगने लगा ऐसे में घर वापस होना मजबूरी थी।



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1206 expatriates arrive at Chhapra junction by special train from Surat for second time, all found healthy at screening




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विशाखापटनम गैस लीक के विरोध में भाकपा माले ने मनाया धिक्कार दिवस

विशाखापत्तनम गैस लीक कांड व महाराष्ट्र में प्रवासी मजदूरों के ट्रेन से कट जाने को लेकर दुल्फा तथा हाजीपुर में भाकपा माले ने शोक सभा व धिक्कार दिवस मनाया। इस दौरान दुल्फा व हाजीपुर में में भाकपा माले के नेताओं द्वारा दुर्घटना में मारे गए लोगों की याद में शोक सभा का आयोजन कर मौन रखा। इस दौरान किसान सभा के जिला सचिव व पूर्व मुखिया वीरेंद्र सिंह ने कहा कि महाराष्ट्र व विशाखापत्तनम दोनों घटनाएं सरकार की नकामी का नतीजा है। उन प्रवासी मजदूरों का क्या दोष था जो ट्रेन से कट गए।

यदि महाराष्ट्र की सरकार उन मजदूरों को वहीं पर रहने, खाने व उनकी परिवार की चिंता करती तो मजदूरों की जान बच जाती। उद्घव की सरकार निकम्मी सरकार साबित हो रही है। अस्पताल की व्यवस्था जर्जर है। महाराष्ट्र सरकार इतनी संवेदनहीन है कि अस्पताल में एक ओर कोराेना के मरीज तो दूसरी ओर शव रखा गया है। वही विशाखापत्तनम में जहरीले गैस से दर्जनों लोग अचानक मारे गए। इसमें में सरकार की संवेदनहीनता दिखाई दे रही है। लॉकडाउन के बावजूद व जहरीला गैस का प्लांट कैसे चलता रहा यह भी जांच का विषय है। इस दौरान दुल्फा में आनंद राम, राजेश राम, राधेश्याम राम,मोहरीहां में लालजी राम, शिवबली राम के नेतृत्व में शोकसभा व धिक्कार दिवस मनाया गया।



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CPI ML celebrated Dhikar Day in protest against Visakhapatnam gas leak




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बाबूबरही क्वारेंटाइन सेंटर में अच्छा भोजन नहीं मिलने पर सड़क पर उतरे प्रवासी, एक घंटे किया सड़क जाम

शनिवार को बाबूबरही में जिला प्रशासन की ओर से प्रवासियों के लिए करवाए गए घटिया भोजन को देखकर प्रवासियों का घुस्सा फूटा पड़ा। प्रशासन की मौजूदगी में प्रवासियों ने क्वारेंटाइन सेंटर से निकलकर सड़क पर आ गए। उन्होंने सड़क को बांस से घेरकर जमकर बबाल कटा। वहीं, दूसरी ओर लखनौर के क्वारेंटाइन सेंटर धरावती प्लस टू विद्यालय रूपौली में प्रवासी मजदूरों ने जिला प्रशासन के ओर से की गई भोजन की व्यवस्थाओं की सराहना भी की।
खाने योग्य नहीं है भोजन : बाबूबरही क्वॉरेंटाइन सेंटर में विभिन्न राज्यों से आए प्रवासी मजदूर सुबह करीब 9 बजे भोजन में अनियमितता को लेकर उग्र हो गए। प्रवासी मजदूर सेंटर से निकलकर सड़क पर उतर आए। उन्होंने प्लस टू जगदीश नंदन उच्च विद्यालय के सामने मधुबनी-खुटौना मुख्य मार्ग पर बांस बला से घेर दिया। इसके बाद सड़क को जाम करते हुए बवाल काटने लगे। सभी का आरोप था कि सेंटर में उन्हें जो भोजन परोसा जा रहा है। हंगामा करने की सूचना मिलने पर एसआई प्रेम कुमार पासवान दल बल के साथ जाम स्थल पर पहुंचे। व्यवस्था दुरुस्त करने का आश्वासन देकर जाम खत्म करवाया।

प्रवासियों ने बताया- डॉक्टर कभी भी सेंटर के अंदर देखने के लिए भी नहीं आते हैं
प्रवासियों का कहना है कि क्वारेंटाइन सेंटर में सूची के अनुसार से भोजन नाश्ता नहीं मिलता है। सेंटर के अंदर बिजली, चापाकल, शौचालय, बाल्टी, जाग की समुचित व्यवस्था नहीं है। प्रवासियों ने यह भी आरोप लगाया कि एक भी पदाधिकारी या डॉक्टर कभी भी सेंटर के अंदर देखने के लिए नहीं आते हैं। फोन पर बात करने से एक दूसरे के ऊपर टालमटोल कर देते हैं।

समय से नहीं मिलता भोजन, एक भी गार्ड नहीं, प्रवासी घूमने के लिए निकल जाते हैं
पिछले 4-5 दिनों से रहे प्रवासियों को समय से भोजन नहीं मिल रहा है। शनिवार को जलपान में चुरा में हल्दी मिलाकर दिया गया। जिसके कारण हम लोगों ने सड़क को जाम कर दिए। यहां पर एक भी गार्ड नहीं हैं। जिसकी वजह से कुछ प्रवासी बाहर घूमने के लिए जाते हैं। एक प्रवासी ने बताया कि शुक्रवार को 4 प्रवासी बिना बताए अपने अपने घर चले गए।

झंझारपुर में सड़क पर घूम रहे क्वारेंटाइन किए गए लोगों को देखकर भड़के ग्रामीण

झंझारपुर | झंझारपुर के लोगों ने ललित नारायण जनता काॅलेज के पास मुख्य सड़क को बांस बल्ला से जाम कर विरोध किया। झंझारपुर के ललित नारायण जनता काॅलेज में बनाए गए क्वारेंटाइन सेंटर में आए लोगों को शनिवार के सुबह सड़क पर सामान खरीदारी करते हुए देख कर लोगों ने भड़क गए और बांस बल्ले सड़क को घेर कर विरोध करना शुरू कर दिया। सड़क जाम होते ही जाम स्थल के दोनों ओर वाहनों की लाइन लगने लगी। सड़क जाम की सूचना पर झंंझारपुर बीडीओ विनोद कुमार सिंह और थाना पुलिस के पहुंचने पर लोगों ने अपना आक्रोश निकाला। तीन घंटे के बाद समझाने बुझाने के पर सड़क जाम हटाई गई। स्थानीय लोगों ने कहा कि एक तो सघन बस्ती में क्वारेंटाइन सेंटर बनाया गया है। जहां लोगों के अंदर डर बना हुआ है और काफी चिंतित हैं। वहीं प्रशासन द्वारा सुरक्षा की कोई भी व्यवस्था नहीं की गई है। क्वारेंटाइन के लिए रखे गए प्रवासी लोग काॅलेज कैम्पस से निकल कर झंंझारपुर कोर्ट चौक पर खुलेआम घूम रहे थे और सामान की खरीदारी भी कर रहे थे।

प्रवासी बोले- रात में नहीं मिला खाना
इधर, क्वारेंटाइन में आए लोगों का कहना है कि शुक्रवार शाम में पहुंचे। कोई सुविधा नहीं है। रात भर प्रशासन के लोग भी नहीं आए। जिस कारण सड़क पर निकलना पड़ा। क्वारेंटाइन सेंटर की देखभाल करने का मुख्य जबावदेही सीआरसी शिक्षक मो. रियाजुद्दीन को दी गई। सीआरसी मो. रियाजुद्दीन ने बताया कि शुक्रवार के शाम 7 लोग काॅलेज पर पहुंचे थे। जिन्हें खाना दिया गया। वहीं कुछ लोग रात के 12 बजे पहुंचे थे। जिन्हें भोजन उपलब्ध अधिक रात रहने के कारण नहीं दिया गया था। शनिवार को सभी व्यवस्था पूरा कर दिया गया है। कल से खाना कालेज कैंपस में ही बनेगा।



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बाबूबरही में सड़क जाम करते प्रवासी।




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ऑनलाइन पीपीई किट मंगा प्रशासन को सौंपा

कोरोनावायरस से सबसे अधिक खतरा पुलिस, स्वास्थकर्मी, सफाईकर्मी सहित अन्य कोरोना वारियराें को है। खासकर नया भोजपुर जैसे कोरोना संक्रमित क्षेत्र में ड्यूटी करना इन कोरोना फाइटरों के लिए बड़ी चुनौती है। ऐसे जगहों पर ड्यूटी के लिए उन्हें मजबूत सुरक्षा कवच की जरूरत भी है। लेकिन अभी तक जिले में पीपीई किट की कमी थी। जिस कारण कई स्वास्थकर्मी व पुलिसकर्मी साधारण मास्क व किट से ही काम चला रहे थे वो भी तब जबकि नया भोजपुर में कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या हर दिन बढ़ रही थी।

इस विकट घड़ी में अनुमंडल प्रशासन के पहल पर चिलहरी गांव के सामाजिक कार्यकर्ता आशुतोष त्रिपाठी, लक्ष्मण राय, सौरभ राय उर्फ विक्की व सुमित राय ने दिल्ली से ऑनलाइन पचास पीपीई किट मंगवा उसे अनुमंडल प्रशासन को सौंपा। शनिवार को एसडीएम हरेन्द्र राय व एसडीपीओ केके सिंह को दोनों युवाओं ने पीपीई किट भेंट कर उसे पुलिसकर्मियों व स्वास्थ कर्मियों में बांटने की गुहार लगाई। इस संबंध में जानकारी देते हुए विक्की ने कहा कि एक किट की कीमत 800 रुपये है। दोनों द्वारा 40 हजार रुपये की लागत से 50 किट मंगवाए गए है।

विक्की व सुमित ने कहा कि कोरोना त्रासदी के बीच अपने कर्तव्य पर डटे रहने वाले, डाॅक्टर, पुलिस व सफाई कर्मियों सहित अन्य कोरोना वारियराें की सुरक्षा हम सबकी जिम्मेवारी है। आशुतोष त्रिपाठी, लक्ष्मण राय, विक्की व सुमित ने कहा कि जरूरत पड़ने पर वे आगे भी प्रशासन व पीड़ित मानवता की सेवा को तैयार है। वही एसडीएम हरेन्द्र राम व एसडीपीओ केके सिंह ने उनके इस योगदान व कोराेना फाइटरों के सुरक्षा की चिंता व सम्मान की भावना के लिए दोनों सामाजिक कार्यकर्ताओं काआभार जताया।



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Online PPE kit assigned to manga administration